पेट सफा तो हर रोग दफा,ये मुहावरा अक्सर सुनने को मिलता है। पेट की सेहत हमारी ओवर ऑल हेल्थ को प्रभावित करती है, लेकिन आजकल लोग पेट की सेहत को लगातार नज़रअंदाज करते जा रहे हैं। लोगों का खान-पान और लाइफस्टाइल इतना ज्यादा खराब हो रहा है कि खाने के नाम पर वो कुछ भी पेट में भर लेते हैं। पेट में भरने से मतलब है कि भूख नहीं होने पर भी बेशुमार खाते हैं, जिसका सीधा असर उनकी गट हेल्थ से लेकर ओवर ऑल हेल्थ पर पड़ता है।
ऑयली और जंक फूड्स का अधिक सेवन पाचन को बिगाड़ रहा है। लोग कब्ज,अपच और गैस जैसी परेशानियों का शिकार हो रहे हैं। लोगों की आंतों में गंदगी जमने लगी है जो कई बीमारियों का कारण बनती है।
सदगुरु जग्गी वासुदेव के मुताबिक अगर आप पेट को साफ नहीं रखते तो मन को संतुलित रखना मुश्किल है। पेट की सफाई होने से आपका मन हेल्दी रहता है और आप हल्का महसूस करते हैं। आयुर्वेद में किसी भी बीमारी का उपचार पेट से ही शुरु किया जाता है।
आंतों की सेहत बिगड़ने पर पेट में ऐंठन के साथ दर्द होना,पेट फूलना,भूख कम लगना, उल्टी और मतली होना, स्टूल और गैस रिलीज होने में परेशानी होने जैसे लक्षण सामने आते हैं। आंतों की सफाई के लिए आप कुछ घरेलू नुस्खो का सेवन करके अपनी आंतों की हेल्थ को दुरुस्त कर सकते हैं। आइए सदगुरु से जानते हैं कि आंतों को साफ रखने के लिए हम कौन-कौन से नुस्खे अपना सकते हैं।
नीम का करें खाली पेट सेवन
औषधीय गुणों से भरपूर नीम का सेवन सेहत पर जादुई असर करता है। ठंडी तासीर का नीम पाचन को ठीक रखने में और कोलन को साफ करने में बेहद असरदार साबित होता है। नीम की पत्तियों की गोली बनाकर अगर रोज सुबह खाई जाए तो कोलन की संपूर्ण सफाई होती है। इसका सेवन करने से आंतों में जमा गंदगी मल के रूप में बाहर निकलती है। पेट से टॉक्सिन निकालने में नीम का सेवन बेहद असरदार साबित होता है। नीम का सेवन आंतों में मौजूद कीटाणुओं को नष्ट करता है।
हल्दी से करें कोलन की सफाई
हल्दी पाचन को दुरुस्त रखने में दवाई की तरह काम करती है। हल्दी का सेवन तकरीबन चार हजार सालों से विभिन्न समस्याओं का समाधान करने के लिए किया जा रहा है। हल्दी संक्रमण से बचाव करती है, सूजन को कम करती है और पाचन से संबंधित समस्याओं का उपचार करती है। रोजाना हल्दी का सेवन अगर दूध के साथ किया जाए तो सेहत को अनगिनत फायदे होते हैं।
त्रिफला का सेवन आंतों की बेहतर करता है सफाई
त्रिफला चूर्ण एक शक्तिशाली औषधी है जो आंतों में सड़ रहे मल को बाहर निकालने में असरदार साबित होती है। यह पाचन तंत्र में मांसपेशियों को उत्तेजित करके और आंतों के माध्यम से मल को बाहर निकालने में मदद करती है। त्रिफला का सेवन करके आप आंतों में सड़ रही गंदगी का उपचार कर सकते हैं।