New Health Research, Diabetes, Side Effects of Diabetic Medicine, Causes, Precautions: डायबिटीज से पीड़ित लोगों को कई तरह की सावधानियां बरतने के साथ ही इसे नियंत्रित रखने के लिए दवाइयों का सेवन भी करना पड़ता है। ऐसी ही दवाइयों में से एक है रोसिग्लिटाजोन जो कि मधुमेह टाइप2 के मरीज खाते हैं। यूनाइटेड स्टेट्स फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन (FDA) ने 1999 में इस दवा का नाम आवंदिया रखकर इसे मंजूरी दी थी। अभी हाल में हुए एक रिसर्च में ये बात सामने आई है कि ये दवा खाने से दिल की बीमारी का 33 प्रतिशत अधिक बढ़ता है। मेडिकल न्यूज टुडे की खबर के अनुसार, इसके दुष्प्रभावों को देखते हुए यूरोप में इस दवा के इस्तेमाल पर सख्त मनाही है। बता दें कि, भारत में भी इस दवा की बिक्री होती है।
क्या कहता है रिसर्च: रिपोर्ट के अनुसार न्यू हैवन के याले स्कूल ऑफ पब्लिक हेल्थ में इनवायरॉनमेंटल हेल्थ साइंस विभाग के असिस्टेंट प्रोफेसर, Joshua D. Wallach इस रिसर्च के मुख्य ऑथर हैं। इस रिसर्च से ये बात सामने आई है कि दूसरों की तुलना में अवांदिया दवा खाने वाले लोगों में दिल से संबंधित बीमारी होने का खतरा 33 प्रतिशत ज्यादा हो जाता है। इनमें हार्ट अटैक, हार्ट फेलियर, कार्डियोवास्कुलर और नॉन-कार्डियोवास्कुलर डेथ शामिल हैं।
इससे पहले 2007 में हुए एक मेटा-अनैलिसिस से पता चला था कि इस दवा के सेवन से दिल का दौरा पड़ने का खतरा 43 प्रतिशत तक बढ़ जाता है। इस स्टडी के बाद ही 2010 में यूरोप में रोसिग्लिटाजोन की बिक्री पर प्रतिबंध लगा दिया गया था। वहीं, अमेरिका में इस दवाई के पैकेट पर चेतावनी लगी होती है।
और क्या हैं साईड इफेक्ट्स: माई उपचार में छपी खबर के अनुसार, इस दवा के और भी साइड इफेक्ट्स हो सकते हैं। रोसिग्लिटाजोन खाने से भूख कम लगना, उलटी जैसा लगना, लगातार वजन घटना और त्वचा पर चकते पड़ने जैसी समस्याएं हो सकती हैं। इसके अलावा एनीमिया, लिवर रोग और एलर्जी से जूझ रहे मरीजों को इस दवा से दूर रहने की सलाह दी जाती है। इसके अलावा, जो लोग कोई आयुर्वेदिक, हर्बल या होमियोपैथिक दवा का सेवन कर रहे हैं, उन्हें भी इस दवा का इस्तेमाल नहीं करना चाहिए क्योंकि इससे आवंदिया टैबलेट के प्रभाव प्रभावित हो सकते हैं। वहीं, गर्भवती महिलाओं को भी इस दवा को खाने के पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लेना चाहिए।
टाइप2 मरीज रखें इसका ख्याल: डाइबिटिक पेशेंट्स की इम्यूनिटी को दूसरों की तुलना में बेहद कमजोर होती है। ऐसे में उन्हें अपनी सेहत पर ज्यादा ध्यान देने की जरूरत होती है। एक अध्ययन में पाया गया है कि विटामिन-सी को अपने डाइट में शामिल करने से मधुमेह रोगियों को दिनभर में बढ़ा हुआ ब्लड शुगर का स्तर कम होता है। शोध में यह भी पाया गया है कि विटामिन-सी टाइप-2 डायबिटीज वाले लोगों में रक्तचाप को कम करता है, जिससे हृदय की हालत अच्छी रहती है। फाइबरयुक्त भोजन करें, साथ ही जितना हो सके सेहतमंद खाना खाएं। प्रोसेस्ड और रिफाइंड खाना खाने से बचें।