दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के बाद भाजपा सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने भी केतन मेहता की फिल्म ‘मांझी-द माउंटेन मैन’ की तारीफ की। एक ही फिल्म पर दोनों नेताओं की तारीफ के बोल भी एक जैसे थे-बिहार का डीएनए। पिछले लोकसभा चुनावों के दौरान से ही ‘डीएनए’ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का पसंदीदा जुमला रहा है।
बिहार में भी चुनावी रैली के दौरान मोदी ने कहा था, ‘नीतीश कुमार के डीएनए में खोट’ है और इससे खफा बिहार के मुख्यमंत्री ने इसके लिए नरेंद्र मोदी से माफी मांगने की बात कही थी और इसके खिलाफ अभियान भी चलाया। अभी बिहार में चुनावी मौसम है इसलिए बिहार के ‘धरतीपुत्र’ दशरथ मांझी पर बनी फिल्म भी इस ‘डीएनए’ के दायरे में है।
अभिनेता से राजनेता बने भाजपा के पाटलिपुत्र से सांसद शत्रुघ्न सिन्हा ने बिहार के गया जिला निवासी और गरीब भूमिहीन मजदूर दशरथ मांझी की जीवनी पर आधारित फिल्म ‘मांझी-द माउंटेन मैन’ की प्रशंसा करते हुए शनिवार को कहा कि यही बिहार का असली और मजबूत डीएनए है।
शत्रुघ्न ने ट्वीट कर फिल्म ‘मांझी-द माउंटेन मैन’ की तारीफ करते हुए कहा कि गतिशील, सच्चाई पर आधारित और सही समय पर फिल्माई गई यह फिल्म बिहार के गौरव और यहां की माटी के एक पुत्र के असली और मजबूत डीएनए को प्रदर्शित करता है। उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सहित राज्य सरकार के उस फैसले की प्रशंसा की जिसके तहत शुक्रवार को प्रदर्शित फिल्म को टैक्स फ्री कर दिया गया है।
शत्रुघ्न ने इस फिल्म के नायक नवाजुद्दीन सिद्दीकी और नायिका राधिका आप्टे की भी तारीफ की और कहा, ‘मिट्टी के बारूद नवाजुद्दीन इस सदी की खोज हैं। राधिका सौम्य और प्रशंसनीय हैं। उनकी भारी सफलता की कामना करता हूं’।
माउंटेन मैन के नाम से चर्चित रहे दशरथ मांझी के जीवन पर आधारित निर्देशक केतन मेहता की फिल्म ‘मांझी-द माउंटेन मैन’ को लोगों के व्यक्तिगत और सामाजिक दृष्टिकोण के विकास के उद्देश्य से मनोरंजन कर से भुगतान की छूट प्रदान करते हुए राज्य सरकार ने कहा था कि दिवंगत मांझी की कहानी एक सरल व्यक्तित्व और मानवीय जीवन की प्रेरणादायी कहानी है। यह बताती है कि अगर आदमी दृढ़ संकल्प कर ले तो साधनों की अल्पता में भी बड़े से बड़े काम को अंजाम दे सकता है। इनके जीवनी पर बनी यह चलचित्र जीवन को सही परिप्रेक्ष्य में देखने के लिए उत्प्रेरित करता है और इससे व्यक्तिगत और सामाजिक दृष्टिकोण का विकास होता है। इस चलचित्र के माध्यम से व्यक्ति और समाज को उच्च प्रेरणा प्राप्त होती है।
शत्रुघ्न के ही सुर में पिछले हफ्ते अरविंद केजरीवाल ने भी नीतीश के लिए डीएनए वाली टिप्पणी को लेकर मोदी पर निशाना साधा था। पिछले हफ्ते दिल्ली में विशेष प्रबंध के तहत फिल्म देखने के बाद केजरीवाल ने कहा था, ‘अब जबकि बिहार चुनाव नजदीक आ रहे हैं इसलिए हर किसी को मांझी फिल्म देखनी चाहिए ताकि वह जान सके कि बिहार का डीएनए किससे बना होता है’। मोदी ने 25 जुलाई को मुजफ्फरपुर की रैली में कहा था, ‘लगता है कि नीतीश कुमार के डीएनए में ही कुछ खराबी है’। वे नीतीश कुमार के बार-बार राजनीतिक रुख बदलने का जिक्र कर रहे थे।
1934 में जन्मे भूमिहीन दशरथ मांझी आर्थिक रूप से कमजोर महादलित मुसहर समुदाय से ताल्लुक रखते थे। उनका गांव पहाड़ के बीच होने के कारण सड़क, बिजली, स्वास्थ्य सेवा सहित अन्य बुनियादी सेवाओं से वंचित था। गहलौर के गरीब भूमिहीन मजदूर मांझी पास के जमींदारों के खेतों में काम किया करते थे। 1959 में उनकी पत्नी बीमार पड़ी तो वे सड़क के अभाव में उन्हें अस्पताल नहीं ले जा सके और पत्नी की मौत हो गई। पत्नी की मौत के वियोग में अगले 22 वर्षों तक छेनी और हथौड़ी की मदद से पहाड़ को काटकर रास्ता बनाने के लिए प्रयासरत रहे। आखिरकार, वे 360 फुट लंबा और 30 फुट चौड़ा रास्ता बनाने में सफल हुए। इस रास्ते के कारण उनके गांव की दूरी पास के वजीरगंज प्रखंड से 55 किलोमीटर से घट कर 15 किलोमीटर रह गई।
मांझी की मृत्य 2007 में हुई। उनका अंतिम संस्कार मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने राजकीय सम्मान के साथ कराया था। उनके गांव तक तीन किलोमीटर पक्की सड़क बनाए जाने और उनके नाम पर एक अस्पताल का नाम रखे जाने का निर्देश दिया।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मांझी के नाम पर 2010-11 में दशरथ मांझी कौशल विकास योजना शुरू की थी। सरकार का दावा है कि इसके तहत अबतक कुल 83792 युवक एवं युवतियों को विभिन्न ट्रेडों में प्रशिक्षण दिया जा चुका है। पहाड़ को काटकर रास्ता बनाने के मांझी के दृढ़संकल्प ने सिने अभिनेता आमिर खान को भी अपनी ओर आकर्षित किया और उन्होंने उनके गांव जाकर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की थी और टीवी शो ‘सत्यमेव जयते’ उन्हें समर्पित किया था
बिहार और डीएनए
लगता है कि नीतीश कुमार के डीएनए में ही कुछ खराबी है।
-नरेंद्र मोदी (नीतीश कुमार के बार-बार राजनीतिक रुख बदलने का जिक्र करते हुए 25 जुलाई को मुजफ्फरपुर की रैली में कहा था)
अब जबकि बिहार चुनाव नजदीक आ रहे हैं इसलिए हर किसी को मांझी फिल्म देखनी चाहिए ताकि वह जान सके कि बिहार का डीएनए किससे बना होता है।… अरविंद केजरीवाल, दिल्ली के मुख्यमंत्री
गतिशील, सच्चाई पर आधारित और सही समय पर फिल्माई गई यह फिल्म बिहार के गौरव और यहां की माटी के एक पुत्र के असली और मजबूत डीएनए को प्रदर्शित करता है… शत्रुघ्न सिन्हा, भाजपा नेता