Arnab Goswami Debate: बॉलीवुड एक्टर सुशांत सिंह राजपूत केस को लेकर मीडिया में बहस छिड़ी हुई है। इस बीच महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की सरकार की तरफ से रिपब्लिक मीडिया नेटवर्क के संपादक अर्नब गोस्वामी को विशेषाधिकार हनन का नोटिस भेजा गया है। इस नोटिस को लेकर वरिष्ठ पत्रकार अर्नब गोस्वामी ने रिपब्लिक भारत पर अपने कार्यक्रम ‘पूछता है भारत’ में डिबेट के दौरान उद्धव सरकार पर निशाना साधा और इस नोटिस पर अपनी प्रतिक्रिया दी है।

अर्नब गोस्वामी ने कहा, ‘उद्धव ठाकरे की महाराष्ट्र सरकार और महाराष्ट्र विधानसभा ने थोड़ी देर पहले 60 पन्नों का नोटिस भेजा है मुझे। मुझे धमकी दी गई है कि मैंने जो सुशांत और दिशा केस से जुड़े सवाल पूछा वो गलत है। विधानसभा में मेरे खिलाफ विशेषाधिकार हनन का प्रस्ताव लाने की धमकी दी गई। यह लोग कह रहे हैं कि मैंने विशेषाधिकार हनन किया है।’

अर्नब गोस्वामी ने आगे कहा, ‘उद्धव ठाकरे जी इस देश का संविधान मुझे सवाल पूछने का हक देता है। मैं जेल जाने को तैयार हूं आप क्या चाहते हो? तड़प रहे हैं 3 महीने से मुझे जेल भेजने के लिए तो उद्धव जी सुन लीजिए जेल जाने को मैं तैयार हूं। मेरे रिपोर्टर को जेल भेजा क्या सच छुपा पाए। मैं बदलूंगा नहीं मैं सवाल पूछुंगा क्योंकि यह लोकतंत्र है तानाशाही नहीं है। सवाल पूछने का हक मुझे देता है हमारा लोकतंत्र, हमारा संविधान। आपने 60 पन्नों का नोटिस भेजकर काफी परिश्रम किया है। मैं सुशांत के लिए लड़ रहा हूं मैंने किस चीज का हनन किया है? मैंने कुछ गलत नहीं किया है इसलिए मैं माफी नहीं मांगने वाला हूं।’

सच्चाई जल्द आएगी सामने: अर्नब गोस्वामी ने कहा कि इस केस में जांच तो होगी और सच्चाई जल्द सामने आएगी। मैं खुलकर कहता हूं कि इस केस में मेरे पास 20 से 25 सबूत आने अभी बाकी हैं। सच तो मैं निकालकर रहूंगा और यह बेबी पेंग्विन्न या उससे जुड़े कोई भी हैं ज्यादा चिंता मत करो कुछ रोक नहीं पाओगे आप हमें। मैं आज महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री को एक संदेश देना चाहता हूं वो चिट्ठी भेजते हैं हमें मैं आमने-सामने बात करता हूं। उद्धव ठाकरे जी अगर आप मेरे इरादे आज़मा रहे हैं तो सुन लीजिए मेरे इरादे फ़ौलादी हैं। इन 60 पन्नों के नोटिस से वो डरते हैं जिन्होंने डरने वाला काम किया है। हमनें जनता की आवाज़ उठाने का काम किया है जनता हमारे साथ है।