लोकसभा चुनाव में इस बार बीजेपी को उत्तर प्रदेश से बड़ा झटका लगा। टारगेट 80 सीटें जीतने का रखा गया था और हासिल सिर्फ 33 हो पाईं। अब उस हार के कई कारण हैं, उन्हीं पर समीक्षा करने के लिए सीएम योगी आदित्यनाथ ने एक अहम बैठक बुलाई। उस बैठक में सभी मंत्री शामिल हुए, लेकिन प्रदेश के दोनों डिप्टी सीएम बृजेश पाठक और केशव प्रसाद मौर्य नदारद दिखे।

दोनों डिप्टी सीएम गायब क्यों?

दोनों डिप्टी सीएम का इतनी महत्वपूर्ण मीटिंग में ना आना चर्चा का विषय बन गया, सभी के मन में सवाल आने लगे कि चुनावी हार के बाद ऐसा क्या हुआ कि योगी की बैठक से ही दोनों डिप्टी सीएम ने दूरी बना ली? अब बताया यह जा रहा है कि इस समय बृजेश पाठक और केशव प्रसाद मौर्य राजधानी दिल्ली में मौजूद हैं। वहां पर उनकी बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा से भी मुलाकात हुई है। दूसरी तरफ यूपी में इस समय योगी आदित्यनाथ ने फिर पूरी तरह सक्रिय हो चुके हैं।

योगी ने क्यों बुलाई बैठक?

मंत्रियों से मुलाकात करने से पहले उनकी तरफ से अधिकारियों के साथ एक मीटिंग की गई। जनता तक हर योजना पहुंच सके, इस बात पर मंथन हुआ। अब शुरुआती समीक्षा के बाद कहा जा रहा है कि यूपी में बीजेपी के लचर प्रदर्शन के कई कारण हैं। इसमें सांसदों के खिलाफ नाराजगी से लेकर सपा के पीडीए फॉर्मूले से बने समीकरण तक, कई मुद्दे शामिल हैं।

यूपी में बीजेपी को कैसे नुकसान?

यहां भी बहुजन समाज पार्टी की वजह से भी कई सीटों पर इस बार सपा से ज्यादा बीजेपी को नुकसान हुआ है। दलित और ओबीसी वोटबैंक बीजेपी की जगह इंडिया गठबंधन की तरफ शिफ्ट कर गया। चर्चा तो ऐसी भी चल रही है कि बीजेपी के कुछ नेताओं ने भी अंदरखाने पार्टी को ही कमजोर करने का काम किया है, जमीन पर कार्यकर्ता उतरे ही नहीं है, उस वजह से भी इतनी बड़ी हार यूपी में देखने को मिली है।

9 जून को शपथ ग्रहण

वैसे तमाम झटकों के बावजूद भी केंद्र में एक बार फिर एनडीए की सरकार बनने जा रही है। कल यानी कि 9 जून को शपथ ग्रहण समारोह भी होने जा रहा है, चर्चा है कि जेडीयू और टीडीपी को 3-3 मंत्रालय दिए जा सकते हैं, बड़े मंत्रालय बीजेपी अपने पास ही रख सकती है।