सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने आज कुशीनगर के फाजिलनगर में बीजेपी से सपा में शामिल हुए स्वामी प्रसाद मौर्य की जमकर तारीफ की। सपा अध्यक्ष ने कहा कि मौर्य के सपा में शामिल होने से बीजेपी बहुत परेशान है। बीजेपी उस दिन को याद नहीं कर सकती जब स्वामी प्रसाद मौर्य ने सपा का दामन थामा था।
सपा अध्यक्ष ने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्य के उनकी पार्टी में आने से बीजेपी की हवा निकल जाएगी। उन्होंने कहा कि अगर स्वामी प्रसाद मौर्य ने 2011 में बसपा छोड़ने के बाद सपा ज्वाइन की होती तो पार्टी को 5 साल के लिए बुरे दिन देखने की जरूरत नहीं होती। अखिलेश ने कहा कि अगर वह 2017 में भी सपा के साथ आए होते आज यूपी काफी आगे होता। सपा अध्यक्ष ने कहा कि वह 2011 से मौर्य का इंतजार कर रहे थे।
अखिलेश ने कहा कि पहले, दूसरे, तीसरे और चौथे चरण के तहत मतदान हो चुका है और आज पांचवें चरण में वोट पड़ रहा हैं। सभी ने फैसला कर लिया है कि बाबा जी यानि योगी आदित्यनाथ को वापस मठ में भेज देंगे। बाबा ने आपको लैपटॉप नहीं दिए, क्योंकि वह खुद इन्हें चलाना नहीं जानते हैं। बाबा जी तो स्मार्ट फोन भी चलाना नहीं जानते हैं। जो मुख्यमंत्री आज के जमाने में लैपटॉप ना चला पाए और कंप्यूटर, स्मार्ट फोन की अहमियत न समझे, वह प्रदेश को कैसे चलाएंगे।
परिवारवादी के आरोप पर पलटवार करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि हम परिवार वाले लोग जब घर जाते हैं तो कुछ लेकर जाते हैं। हम बाबा जी से कहते हैं कि जब वापस आना तो अपने गुल्लू के लिए बिस्कुट लेते आना। उन्होंने कहा कि भाजपा की सभाओं में भीड़ एकत्र नहीं हो रही है। कोरोना समाप्त होने के बावजूद कुर्सियां दूर-दूर रखकर भीड़ दिखाने की कोशिश की जा रही है। उन्होंने दावा किया कि अगर इस तरह उनकी पार्टी अपनी सभाएं करें तो खेतों की जमीन कम पड़ जाएगी।
सपा प्रमुख ने तीन कृषि कानूनों की चर्चा करते हुए किसानों पर अत्याचार का जिक्र किया। अखिलेश ने कहा कि किसानों की ताकत के आगे भाजपा को झुकना पड़ा। सोनभद्र जिले में उठक-बैठक करने वाले एक भाजपा उम्मीदवार की ओर इशारा करते हुए अखिलेश यादव ने कहा कि भाजपा के लोग कहीं उठक-बैठक कर रहे हैं। कहीं माफी मांग रहे हैं। लेकिन ये लोग अगर 700 बार भी उठक-बैठक कर लें तो किसान इन्हें माफ नहीं करेंगे। उन्होंने दावा किया कि सपा, उसके सहयोगी दल मिलकर राज्य में भाजपा को सत्ता से बाहर कर देंगे।