उत्‍तर प्रदेश में कांग्रेस और सपा के बीच लखनऊ सेंट्रल सीट को लेकर ठन गई है। इस सीट से सपा ने वर्तमान विधायक रविदास मेहरोत्रा को टिकट दिया था और उन्‍होंने अपना नामांकन दाखिल कर दिया। वहीं कांग्रेस ने मारुफ खान को उतार दिया और उन्‍होंने भी अपना पर्चा दाखिल कर दिया। दोनों का कहना है कि उन्‍हें पार्टी के वरिष्‍ठ नेताओं ने ऐसा करने को कहा है। बताया जाता है कि सपा ने मेहरोत्रा का टिकट काट दिया है। लेकिन उन्‍होंने पीछे हटने से मना कर दिया। उनका कहना है कि मारुफ खान को अपना नामांकन वापस लेना होगा क्‍योंकि यहां से वे ही लड़ेंगे। रविदास मेहरोत्रा ने कहा, ”अखिलेश यादव और राहुल गांधी ने लोगों से मुझे वोट देने को कहा है। मैं चुनाव लडूंगा। वह(मारुफ खान) अपना नामाकंन वापस लेंगे।”

इधर, कांग्रेस नेता मारुफ खान का कहना है, ”मुझे लखनऊ सेंट्रल सीट से पर्चा दाखिल करने के लिए राज बब्‍बर और गुलाम नबी आजाद ने निर्देश दिए हैं।” बता दें कि यूपी चुनावों के लिए समाजवादी पार्टी और कांग्रेस ने कई दौर की बातचीत के बात समझौता किया है। इसके तहत कुल 403 में से सपा 298 और कांग्रेस 105 पर चुनाव लड़ेगी। दोनों पार्टियां मिलकर बसपा और भाजपा का मुकाबला करेंगी। कांग्रेस उपाध्‍यक्ष राहुल गांधी और उत्‍तर प्रदेश के मुख्‍यमंत्री अखिलेश यादव के गठबंधन की ताकत दिखाते हुए रविवार(29 जनवरी) को लखनऊ में रोड शो भी किया था। इससे पहले सपा और कांग्रेस के बीच अमेठी और रायबरेली की सीटों को लेकर तनातनी थी। बाद में इन दोनों लोकसभा क्षेत्रों की सभी 10 सीटें कांग्रेस को मिल गई थी।

कानपुर शहर की तीन प्रमुख विधानसभा सीटों पर भी समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के बीच पेंच गहरा फंस गया है। वैसे शहर की पांचों सीटों पर समाजवादी पार्टी ने अपने उम्मीदवार पहले से ही उतार दिये हैं लेकिन कांग्रेस का दावा है कि समझौते के तहत शहर की तीन सीटों कैंट, किदवईनगर और गोविंदनगर पर वह चुनाव लड़ेगी। इन तीन सीटों में से किदवईनगर से कांग्रेस के मौजूदा विधायक अजय कपूर हैं जबकि गोविंदनगर सीट पर कांग्रेस प्रत्याशी को पिछले 2012 के विधानसभा चुनाव में दूसरा नंबर मिला था। कैंट की सीट पर कांग्रेस को पिछले चुनाव में तीसरा स्थान मिला था। उत्‍तर प्रदेश में सात चरणों में 11 फरवरी से आठ मार्च के बीच मतदान होना है। चुनाव नतीजे 11 मार्च को घोषित होने हैं।