कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी ने सिद्धार्थनगर के इटवा क्षेत्र में मंगलवार को आयोजित जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि “आपके जज्बात होने चाहिए देश के लिए, यही होता है राष्ट्रवाद, देश के लिए मर मिटना, यही होता है राष्ट्रवाद। देशवासियों को लड़ाने में कोई राष्ट्रवाद नहीं है। देशवासियों से स्वार्थ साधने में कोई राष्ट्रवाद नहीं है। देशवासियों के जज्बात उभारकर वोट लेने में कोई राष्ट्रवाद नहीं है।”
उत्तर प्रदेश चुनाव के लिए प्रचार करने के लिए सिद्धार्थनगर पहुंची प्रियंका गांधी ने आरोप लगाया, “यह समाजवादी दल और बसपा, भाजपा से समझौता किए हुए हैं। आप इस गलतफहमी में मत रहिए कि अगर इनकी सरकार बन भी गई तो वे भाजपा का सामना कर पाएंगे।”
उनके इस बयान पर सोशल मीडिया में लोगों ने कमेंट किए हैं। एमडी शहीदुर रहमान नाम के यूजर @MDShahidurRah11 ने रिएक्शन दिया, “बिल्कुल सही है मैं तो आज तक समझ नहीं पाया के अपने ही देश के लोगों के खिलाफ नफरत फैला कर अपनी ही देश के लोगों कि हत्या का आहवान कर के कौन सी देशभक्ति निभा रहे हैं जब मैं चौथी कक्षा में था तो पढ़ता था एक बन के रहो तो तुम्हें कोई तोड़ नहीं सकता है जब अकेला रहोगे तो कोई भी तोड़ देगा”
गगन कुमार@gaganku80426925 नाम के यूजर ने कहा, “देश के “जयचंदों” से लड़ना,उसे बेनकाब करना भी “राष्ट्रवाद” है। जिसका #डीएनए भारतीय न हो,वो क्या जानें_”राष्ट्रवाद”??” शादाब @shadab123in नाम के दूसरे यूजर ने कहा, “बिलकुल सही बात 100% सहमत, ये बात अंधभक्तों को अभी समझ में नहीं आएगा, आगे चलकर पता लगेगा, अभी ये लोग सोच रहे कि अब्दुल को पाकिस्तान भेज देंगे और 200 रुपये पेट्रोल खरीद कर सच्चे राष्ट्रवादी कहलाएंगे।”
आदित्य सिंह @aditya24582 नाम के यूजर ने कहा, “अब वह वास्तव में इस मुद्दे को आम आदमी की भाषा में उठा रही हैं। राहुल के पास दूरदर्शिता है, लेकिन वह लोगों से जुड़ नहीं पाते हैं। कांग्रेस को सोचना चाहिए।” सुधीर कुमार जति@jSudhira·”यह सच है..नौजवान को इस पर सीखना चाहिए और सिखाना चाहिए…आजकल हमें इंसानियत से दिक्कत हो रही है…भूखे हैं..हम मर रहे हैं…हम लाचार हैं…. हमारी संस्कृति और भाईचारे को बिगाड़कर सरकार चुनाव जीतने में व्यस्त है।”