MP Elections: मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के लिए सीट-बंटवारे का समझौता टूटने के बाद कांग्रेस और समाजवादी पार्टी (सपा) नेताओं के बीच छिड़ी जुबानी जंग लगातार सुर्खियां बनी हुई है। शुक्रवार को मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव 2023 से पहले छतरपुर में पत्रकारों से बात करते हुए सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने कांग्रेस पार्टी पर धोखा देने का आरोप लगाया। सपा प्रमुख ने कहा कि मध्य प्रदेश के लोगों ने करीब से देखा है कि इंडिया गठबंधन को धोखा देने का काम अगर किसी ने किया है तो वो कांग्रेस ने किया है।

वहीं उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी और कांग्रेस के बीच जंग थमने का नाम नहीं ले रही है। मध्य प्रदेश में सीटों के मुद्दे पर शुरू हुए विवाद ने अब ऐसा स्वरूप ले लिया है कि दोनों दलों के नेता एक दूसरे पर गंभीर आरोप लगाने से भी नहीं चूक रहे हैं। यह सब तब हो रहा है कि जब सपा नेता राजेंद्र चौधरी स्पष्ट कर चुके हैं कि साल 2024 के लिए गठबंधन रहेगा. बीते दिनों अखिलेश यादव और कांग्रेस, दोनों ने अपने नेताओं को गलत बयानबाजी करने से रोका था। हालांकि ऐसा लग रहा है कि निर्देशों का कुछ खास असर नहीं हो रहा है।

कांग्रेस और सपा के विवाद में नई एंट्री 1 नवबंर को हुई है, अखिलेश के करीबी माने जाने वाले राजीव राय की। राजीव राय ने मंगलवार शाम पोस्ट किया- INDIA गठबंधन के लिए हमारे राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव और कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व के बीच सकारात्मक बात के बावजूद यूपी कांग्रेस द्वारा लगातार नकारात्मक टिप्पणी दुर्भाग्यपूर्ण है, पता नहीं ये कांग्रेस की चाल है या यूपी के कांग्रेसी नेता भाजपा से सुपारी लिए है। राहुल गांधी स्पष्ट करें।

सोशल मीडिया साइट एक्स पर राजीव राय यहीं नहीं रुके। उन्होंने एक अन्य पोस्ट में कहा- INDIA गठबंधन में कांग्रेस के साथ पूरे देश में विभिन्न पार्टियां शामिल हैं, किसी भी अन्य प्रदेश के कांग्रेस अध्यक्ष अपने गठबंधन के सहयोगी पार्टी और उसके नेतृत्व पर हमला नहीं करते ना ही कोई नकारात्मक टिप्पणी करते है फिर केवल यूपी कांग्रेस के नेता किसके लिए और किस मकसद से भाजपा से नहीं सपा से लड़ रहे हैं?

इससे पहले, सपा प्रमुख अखिलेश यादव और कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय राय के बयानों ने हंगामा मचा दिया था। जिसके बाद कांग्रेस आलाकमान ने हस्तक्षेप किया था और मामले को सुलझाने के लिए सपा प्रमुख से बात की थी। बता दें, एमपी में कांग्रेस और सपा के बीच सीट शेयरिंग को लेकर जमकर विवाद हुआ था। इतना ही नहीं दोनों दल एमपी में विधानसभा चुनाव अलग-अलग लड़ रहे हैं। हालांकि पार्टी का कहना है कि लोकसभा चुनाव में गठबंधन रहेगा और बीजेपी को सभी 80 सीटों पर हराया जाएगा।