कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी की बहन प्रियंका गांधी ने बुधवार (6 फरवरी) को पार्टी के महासचिव सह पूर्वी उत्तर प्रदेश प्रभारी के रूप में पदभार संभाल लिया। अब इस बात पर चर्चा तेज हो गई है कि प्रियंका गांधी के राजनीति में आने से कांग्रेस को फायदा होगा या नुकसान? इंडिया टीवी और सीएनएक्स ने ओपीनियन पोल के जरिए इस सवाल का जवाब तलाशने की कोशिश की है। उत्तर प्रदेश की 43 सीटों पर सर्वे कर चैनल ने जानने की कोशिश की है कि प्रियंका गांधी को लेकर जनता की क्या राय है? सर्वे के अनुसार, प्रियंका गांधी के आने के बाद से राज्य में उत्तर प्रदेश का जनाधार बढ़ा है। वहीं, भाजपा को नुकसान होता दिख रहा है।
वाराणसी: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में प्रियंका गांधी के आने से कोई फर्क पड़ने की उम्मीद नहीं है। 2014 के चुनाव में नरेंद्र मोदी के पक्ष में जनसमर्थन था और इस बार भी लगभग वही स्थिति है। इस बार भाजपा को यहां 53 फीसदी वोट मिल सकते हैं। कांग्रेस 28 फीसदी वोट के साथ दूसरे और महागठबंधन 12 फीसदी वोट के साथ तीसरे नंबर पर रहेगी। बता दें कि पिछले लोकसभा चुनाव में कांग्रेस को यहां मात्र 7 फीसद वोट मिले थे।
अमेठी: कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी अमेठी सीट से वर्तमान सांसद हैं। इस बार कांग्रेस को यहां 45 प्रतिशत वोट मिल सकते हैं। वहीं भाजपा को 39 फीसद मिलने की संभावना है।
रायबरेली: पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी इस सीट से वर्तमान सांसद हैं। चर्चा है कि प्रियंका गांधी यहां से चुनाव लड़ सकती हैं। सर्वे के अनुसार, यहां भी कांग्रेस 60 प्रतिशत वोट के साथ चुनाव जीत सकती है। वहीं, भाजपा 25 प्रतिशत वोट के साथ दूसरे नंबर पर रहेगी।
सुल्तानपुर: बात सुल्तानपुर सीट की करें तो यहां से राहुल गांधी के चचेरे भाई वरूण गांधी 2014 लोकसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर सांसद बने। प्रियंका गांधी की राजनीति में इंट्री के बावजूद यह सीट वरूण के खाते में जाती दिख रही है। यहां चुनाव में भाजपा को 38 प्रतिशत, कांग्रेस को 22 और महागठबंधन को 20 प्रतिशत वोट मिल सकता है।
Highlights
कांग्रेस आगामी लोकसभा चुनाव में राज्य के सभी 80 सीटों पर अपना प्रत्याशी उतारेगी। इसके लिए जमीनी स्तर पर तैयारियां शुरू कर दी गई है।
बता दें कि आगामी लोकसभा चुनाव में सपा, बसपा और राष्ट्रीय लोक दल एक साथ मिलकर महागठबंधन के रूप में चुनाव लड़ रही है।
सलेमपुर: यहां से रविंद्र कुशवाह सांसद हैं। इस बार भाजपा को 44, महागठबंधन को 40 और कांग्रेस को 5 फीसदी वोट मिल सकते हैं।
बांसगांव: यहां से कमलेश पासवान सांसद हैं। इस बार महागठबंधन को यहां 49 फीसद, भाजपा को 33 फीसदी और कांग्रेस को 02 फीसदी वोट मिल सकते हैं। इस बार ये सीट महागठबंधन के खाते में जा सकती है।
डुमरियागंज: यहां से भाजपा के जगदंबिका पाल सांसद हैं। इस बार यहां महागठबंधन को 32 फीसद, भाजपा को 25 फीसद और कांग्रेस को 17 फीसद वोट मिल सकते हैं।
कैसरगंज: यहां से भाजपा के बृजभूषण शरण सांसद हैं। इस बार यहां महागठबंधन को 41 फीसद, भाजपा को 36 फीसदी और कांग्रेस को 18 फीसदी वोट मिल सकते हैं। पिछली बार यहां कांग्रेस को मात्र 5 फीसद वोट मिले थे। प्रियंका गांधी के आने पर कांग्रेस का वोट 13% बढ़ सकता है।
महाराजगंज: यहां से अभी पंकज चौधरी सांसद हैं। इस बार यहां भाजपा 46 फीसद वोट के साथ पहले नम्बर, महागठबंधन को 38 फीसद के साथ दूसरे और कांग्रेस 13 फीसद वोट के साथ तीसरे नंबर पर रह सकती है।
देवरिया: यहां से भाजपा के कलराज मिश्र सांसद हैं। इस बार यहां भाजपा को 43%, महागठबंधन को 35% और कांग्रेस को 7% वोट मिल सकते हैं।
कुशीनगर: यहां से भाजपा के राजेश पांडेय सांसद हैं। लेकिन इस बार हालात बदल सकते हैं। कांग्रेस 35% वोट के साथ नंबर एक पर रह सकती है। बीजेपी को 29% वोट और महागठबंधन को 21% वोट मिल सकते हैं।
बस्ती: यहां अभी भाजपा के हरीश द्विवेदी सांसद हैं। इस बार महागठबंधन को 48%, भाजपा को 30% और कांग्रेस को 06% वोट मिल सकते हैं।
बहराइच: यहां से भाजपा के टिकट पर सावित्री बाई फूले ने चुनाव जीता था, जो अब बागी हो गई। इस बार महागठबंधन को यहां 43%, बीजेपी 30% और कांग्रेस 21% वोट मिल सकते हैं।
गोंडा: यहां से अभी भाजपा के कीर्ति वर्धन सांसद हैं। इस बार भी भाजपा का कब्जा बरकरार रह सकता है। इस बार भाजपा को 40%, महागठबंधन को 38% और कांग्रेस को 07% वोट मिल सकते हैं।
श्रावस्ती: यहां भाजपा के ददन मिश्रा सांसद है। इस बार महागठबंधन को 43%, भाजपा को 37% और कांग्रेस को 12% वोट मिल सकते हैं।
गोरखपुर: यहां से अभी सपा के प्रवीण निषाद सांसद हैं। यह योगी आदित्यनाथ की सीट थी, लेकिन भाजपा यहां बुरी तरह से हार गई थी। इस बार योगी आदित्यनाथ भाजपा को 45 प्रतिशत वोट के साथ जीत दिलवा सकते हैं। वहीं, 43 प्रतिशत वोट के साथ महागठबंधन नंबर दो पर रह सकता है और कांग्रेस को 12% वोट मिल सकते हैं।
संत कबीर नगर: यहां से अभी भाजपा के शरद त्रिपाठी सांसद हैं। इस बार 41% वोट के साथ बीजेपी नंबर एक, महागठबंधन को 34% वोट के साथ नंबर दो और कांग्रेस को 03% वोट के साथ नंबर तीन पर रह सकती है।
फैजाबाद: यहां से भाजपा के लल्लू सिंह वर्तमान सांसद हैं। इस बार भी बीजेपी को 46%, महागठबंधन को 36% और कांग्रेस को 07% वोट मिल सकते हैं।
हरदोई: यहां से भाजपा के अंशुल वर्मा सांसद हैं। इस बार भाजपा को 45%, महागठबंधन को 39% और कांग्रेस को 09% वोट मिल सकते हैं।
मोहनलालगंज: यहां से भाजपा के कौशल किशोर वर्तमान सांसद हैं। इस बार यहां महागठबंधन को 42%, बीजेपी को 30% और कांग्रेस को 12% वोट मिल सकते हैं।
मिसरिख: यहां से भाजपा की अंजु बाला सांसद चुनी गई थी। इस बार परिदृश्य बदल सकता है। महागठबंधन को 49%, बीजेपी को 39% वोट और कांग्रेस को 06% वोट मिल सकते हैं।
धौरहरा: यहां से भाजपा की रेखा अरूण वर्मा सांसद हैं। इस बार यहां कांग्रेस को 35% वोट, भाजपा को 33% वोट और महागठबंधन को 27% वोट मिल सकता है।
सीतापुर: यहां से भाजपा के राजेश वर्मा पिछली बार चुनाव जीते थे। इस बार दृश्य बदल सकता है। 2019 के लोकसभा चुनाव में महागठबंधन को 45%, बीजेपी को 35% और कांग्रेस 04% वोट मिल सकते हैं।
खेरी: यहां से भाजपा के अजय मिश्र सांसद हैं। इस बार यहां महागठबंधन को 43% वोट, बीजेपी को 37% वोट और कांग्रेस 12% वोट मिल सकते हैं।
उन्नाव: यहां से भाजपा के साक्षी महाराज सांसद हैं लेकिन इस बार लोकसभा चुनाव में महागठबंधन बाजी मार सकता है। महागठबंधन को 32%, बीजेपी को 30% और कांग्रेस 29% वोट मिल सकते हैं।
बाराबंकी: अभी यहां से प्रियंका सिंह रावत सांसद हैं। यहां इस बार भाजपा को 36%, कांग्रेस को 32% और महागठबंधन को 25% वोट मिलने के आसार है।
प्रतापगढ़: यहां से अपना दल के कुंवर हरिबंश सिंह सांसद हैं। इस बार के चुनाव में अपना दल को 37 फीसदी वोट मिल सकते हैं। महागठबंधन कुछ ही वोटों के अंतर से दूसरे नंबर पर रह सकती है। वहीं, कांग्रेस 23% वोट के साथ नंबर 3 पर रह सकती है।
लखनऊ: यहां केंद्रीय गृहमंत्री राजनाथ सिंह वर्तमान सांसद हैं। इस बार भी भाजपा को सबसे अधिक 44% वोट मिल सकते हैं। वहीं, कांग्रेस नंबर दो पर 28% वोट के साथ रह सकती है और महागठबंधन 20% वोट के साथ नंबर तीन पर रह सकता है।
कौशांबी: कौशांबी से भाजपा के विनोद सोनकर वर्तमान सांसद हैं। इस बार यहां महगठबंधन 42 प्रतिशत वोट के साथ पहले स्थान पर रह सकती है। वहीं भाजपा को 37 फीसद तथा कांग्रेस को 4 फीसद वोट मिल सकते हैं।
फूलपुर: यहां से समाजवादी पार्टी के नागेंद्र प्रताप सिंह वर्तमान सांसद हैं। इस बार पासा पलट सकता है। भाजपा को 42, महागठबंधन को 35 और कांग्रेस को 15 फीसद वोट मिल सकते हैं। पिछली बार कांग्रेस को यहां मात्र 4 फीसद वोट मिले थे।
अंबेडकरनगर: यहां से अभी भाजपा के हरिओम पांडेय सांसद हैं। इस बार भाजपा को 39, महागठबंधन को 37 और कांग्रेस को 11 फीसद वोट मिल सकता है।
प्रयागराज: यहां से भाजपा के श्यामचरण गुप्ता सांसद हैं। यहां भी भाजपा के वापसी के आसार हैं। इस बार के चुनाव में भाजपा को 38, महागठबंधन को 33 और कांग्रेस को 22 फीसद वोट मिल सकता है।
जौनपुर: यहां से कृष्ण प्रताप सिंह वर्तमान सांसद हैं। इस बार भी यहां बीजेपी 35 फीसदी वोट के साथ नंबर एक पर रह सकती है। महागठबंधन को 33 और कांग्रेस को 13 फीसदी वोट मिल सकते हैं।
लालगंज: यहां से वर्तमान सांसद भाजपा की नीलम सोनकर सांसद हैं। हालांकि, इस बार महागठबंधन को 50 फीसदी, बीजेपी को 25 फीसदी और कांग्रेस को 08 फीसदी वोट मिल सकते हैं।
आजमगढ़: इस सीट से सपा के मुलायम सिंह यादव सांसद हैं। इस बार समाजवादी पार्टी को 45 फीसदी, भाजपा को 33 फीसदी और कांग्रेस को 05 फीसदी वोट मिल सकता है।
गाजीपुर: गाजीपुर से अभी भाजपा के मनोज सिन्हा सांसद हैं। लेकिन इस बार यहां से महागठबंधन के उम्मीदवार बाजी मार सकते हैं। महागठबंधन को 40 फीसद, भाजपा को 36 फीसद और कांग्रेस को 11 फीसद वोट मिल सकता है।
चंदौली: अभी इस सीट से भाजपा के महेंद्रनाथ पांडेय सांसद हैं। इस बार भी भाजपा यहां से वापसी कर सकती है। भाजपा को 40, महागठबंधन को 32 और कांग्रेस को 16 फीसद वोट मिल सकते हैं।
भदोही: भदोही से भाजपा के वीरेंद्र सिंह ने 2014 के चुनाव में जीत हासिल की थी। लेकिन इस बार यहां से महागठबंधन बाजी कर सकता है। महागठबंधन को 45, भाजपा को 37 और कांग्रेस को 4 फीसद वोट मिल सकता है।
मिर्जापुर: मिर्जापुर सीट से एनडीए की सहयोगी पार्टी अपना दल की नेता अनुप्रिया पटेल सांसद हैं। इस बार भी एनडीए यहां से जीत दर्ज कर सकती है। अपना दल को 35 फीसद, महागठबंधन को 27 फीसद और कांग्रेस को 23 फीसद वोट मिल सकता है।
घोसी: यहां से भाजपा के हरिनारायण राजभर सांसद हैं। लेकिन इस बार परिदृश्य बदल सकता है। इस चुनाव में महागठबंधन 41 फीसदी वोट के साथ नंबर एक पर रह सकता है। बीजेपी को 35 फीसदी वोट और कांग्रेस को 3 फीसदी वोट मिलने की संभावना है।
इस सीट से भाजपा पार्टी के रामचरित्र निषाद सांसद हैं। इस सीट पर भाजपा फिर से वापसी कर सकती है। चुनाव में भाजपा को 38 फीसदी, महागठबंधन को 36 फीसदी और कांग्रेस को 3 फीसदी वोट मिल सकते हैं।
रॉबर्ट्सगंज: यहां से भाजपा के छोटेलाल सांसद हैं। इस बार भी भाजपा वापसी कर सकती है। भाजपा को 37 फीसदी, महागठबंधन को 32 फीसदी और कांग्रेस को 16 फीसदी वोट मिल सकता है।