पंजापब में अकेले चुनाव लड़ने का इरादा लेकर मैदान में उतरी सत्तारूढ़ आम आदमी पार्टी (आप) आठ लोकसभा उम्मीदवारों को तो मैदान में उतार चुकी है, लेकिन बची पांच सीटों में से चार पर उपयुक्त उम्मीदवारों के नाम तय करना अब चुनौतीपूर्ण हो गया है। आप को पहली सूची में भी पांच मंत्रियों, एक पंजाबी गायक, एक पूर्व कांग्रेस विधायक पर दांव लगाना पड़ा था।

इनमें स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह को पटियाला से, कृषि मंत्री गुरमीत सिंह खुडियां को बठिंडा से, कुलदीप सिंह धालीवाल को अमृतसर से, लालजीत सिंह भुल्लर को खडूर साहिब से, गुरमीत सिंह मीत हेयर को संगरूर से, पूर्व कांग्रेस विधायक गुरप्रीत सिंह जीपी को फतेहगढ़ साहिब से मैदान में उतारा है। फरीदकोट से पंजाबी फिल्मों के कलाकार करमजीत अनमोल को टिकट दिया गया है।

अनमोल पहले से ही फरीदकोट में बाहरी होने के ठप्पे का सामना कर रहे हैं क्योंकि वे संगरूर से हैं, लेकिन पार्टी उन्हें संगरूर से मैदान में नहीं उतारना चाहती थी, क्योंकि संगरूर सामान्य सीट है और अनमोल को एससी-आरक्षित निर्वाचन क्षेत्र से मैदान में उतारा गया है। कुछ दिन पहले, आप में शामिल हुए एक और कांग्रेस नेता होशियारपुर से मौजूदा विधायक राज कुमार चब्बेवाल को होशियारपुर से उम्मीदवार बनाए जाने की संभावना है, लेकिन बाकी चार निर्वाचन क्षेत्रों में अभी पेंच फंसा हुआ है। इनमें गुरदासपुर, आनंदपुर साहिब, लुधियाना और फिरोजपुर शामिल हैं।

आनंदपुर साहिब में आप के मुख्य प्रवक्ता मलविंदर सिंह कंग ने टिकट पर अपना दावा ठोका है। हालांकि पार्टी ने अभी तक उन्हें उम्मीदवार नहीं बनाया है। एक अन्य प्रवक्ता दीपक बाली भी दौड़ में आगे हैं। पता चला है कि पार्टी एक हिंदू चेहरे और एक सिख के बीच बहस कर रही है। आनंदपुर साहिब में पार्टी टेलीफोन पर सर्वे कर रही है और इसमें दीपक बाली, मालविंदर कंग और नरिंदर शेरगिल के नामों पर सर्वे किया जा रहा है।

लुधियाना में पार्टी उद्योगपति और राज्यसभा सदस्य संजीव अरोड़ा को मैदान में उतारना चाहती थी, लेकिन समझा जाता है कि उन्होंने चुनाव लड़ने से इनकार कर दिया है। सूत्रों ने कहा कि पार्टी फिर से यहां सर्वेक्षण करा रही है। गुरदासपुर में पार्टी को उपयुक्त उम्मीदवार नहीं मिल पा रहा है। गुरदासपुर के अधिकांश विधानसभा क्षेत्रों का प्रतिनिधित्व भाजपा और कांग्रेस की ओर से किया जाता है। इसी तरह, फिरोजपुर में पार्टी किसी राय सिख की तलाश में है लेकिन जलालाबाद के विधायक जगदीप सिंह कंबोज के नाम पर पर विचार किया जा रहा है।

पिछले दो चुनावों की बात करें तो आप की लोकसभा में मौजूदगी में पंजाब ही प्रमुख रहा है। दस साल पहले, 2014 के लोकसभा चुनाव में आप ने चार सीटें जीती थीं। तब भगवंत मान संगरूर से, धर्मवीर गांधी पटियाला से, साधु सिंह फरीदकोट से और हरिंदर सिंह खालसा फतेहगढ़ साहिब से सांसद चुने गए थे। 2019 के लोकसभा चुनाव में पार्टी ने संगरूर सीट जीती थी और भगवंत मान सांसद बने थे।

हालांकि प्रदेश में आप को बहुमत मिलने और मुख्यमंत्री बनने के बाद भगवंत मान ने यह सीट छोड़ दी थी। इसके बाद यहां उपचुनाव हुआ तो पार्टी ने यह सीट भी गंवा दी। हालांकि पिछले साल जलंधर सीट पर हुए उपचुनाव में आप के सुशील कुमार रिंकू फिर सांसद बने और लोकसभा में पहुंचे।