रिटायमेंट बॉडी फंड कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने घोषणा की थी कि अब कोई भी पेंशन का लाभ पाने वाला व्यक्ति अपने सालाना लाइफ सर्टिफिकेट को साल में कभी भी जमा कर सकता है, जिसके लिए कोई समय सीमा नहींं होगी। यह लाइफ सर्टिफिकेट जमा करने से लेकर पूरे एक साल तक मान्य होगा।
ईपीएफओ ने ट्विटर पर जानकारी देते हुए कहा कि “EPS’95 पेंशनर्स पेंशन योजना का लाभ लेने के लिए साल में कभी भी अपना जीवना प्रमाण पत्र सबमिट कर सकते हैं। इसके अलावा EPFO, EPS पेंशनर्स को डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट सबमिट करने के लिए कई सुविधा प्रोवाइड कराता है। जीवन प्रमाण पत्र सभी एजेंसियों द्वारा स्वीकार किया जाता है।
डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट (DLC) कैसे जमा करें
ईपीएफओ के 135 क्षेत्रीय कार्यालयों और 117 जिला कार्यालयों के अलावा, ईपीएस पेंशनभोगी अब पेंशन वितरण बैंक शाखा और निकटतम डाकघरों में डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट (DLC) जमा कर सकते हैं। (DLC) 3.65 लाख से अधिक सामान्य सेवा केंद्रों (CSC) के राष्ट्रव्यापी नेटवर्क पर भी जमा किया जा सकता है। इसके अलावा ईपीएस पेंशनभोगी उमंग एप के जरिए भी डीएलसी जमा कर सकते हैं।
घर से भी जमा कर सकते हैं लाइफ सर्टिफिकेट
इंडिया पोस्ट पेमेंट्स बैंक (आईपीपीबी) ने पेंशनभोगियों के लिए डोरस्टेप डिजिटल लाइफ सर्टिफिकेट (डीएलसी) सेवा शुरू की है। ईपीएस पेंशनभोगी अब मामूली शुल्क के भुगतान पर घर-घर डीएलसी सेवा प्राप्त करने के लिए ऑनलाइन अनुरोध कर सकते हैं। निकटतम डाकघर से एक डाकिया पेंशनभोगी के पास जाएगा और केवल पेंशनभोगी के घर पर DLC के प्रॉसेस को पूरा करेगा।
कौन से दस्तावेजों की आवश्यकता
वन प्रमाण पत्र जमा करने के लिए आपके पास कुछ महत्वपूर्ण दस्तावेज होना चाहिए। जीवन प्रमाण पत्र जमा करने के लिए पीपीओ नंबर, आधार नंबर, बैंक अकाउंट डिटेल और आधार से जुड़ा रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर होना चाहिए।
ईपीएस-95 में किए गए कुछ महत्वपूर्ण सुधार
वेतन सीमा में 6500 रुपए बढ़ाकर 15000 रुपए प्रति माह 01.09.2014 से किया गया था। इसके अलावा रुपए की न्यूनतम पेंशन का प्रावधान। पेंशन की गणना के लिए पूर्व-निर्धारित फॉर्मूले के अनुसार जहां कहीं भी पेंशन 1000 रुपए से कम हो रही थी, वहां अतिरिक्त बजटीय सहायता प्रदान करके 1 सितंबर 2014 से ईपीएस, 1995 के तहत पेंशनभोगियों को 1000 प्रति माह किया गया है। इस तरह के कम्यूटेशन की तारीख से पंद्रह साल पूरे होने के बाद सामान्य पेंशन की बहाली का नियम भी बदला गया है।