कोविड- 19 की वजह से शिक्षा काफी ज्यादा प्रभावित हुई है। दो साल तक स्कूल, यूनिवर्सिटी व कॉलेज बंद होने के बाद अब फिर से संस्थान खुल रहे हैं। ऐसे में शिक्षा भी पहले से ज्यादा महंगी हो चुकी है। जहां कभी कम पैसों में डिग्री मिल जाती थी, ऐसे में अब लाखों रुपये भुगतान करने पड़ रहे हैं। ऑल इंडिया सर्वे ऑफ हायर एजुकेशन’ के अनुसार किसी मुख्य प्राइवेट बिजनेस स्कूल से एमबीए करने का खर्च करीब 20 लाख रुपए है। जबकि कुछ साल पहले यह 10 से 12 लाख रुपये था।
ऐसे में बहुत से परिवारों को लोन की आवश्यकता होती है। अगर आप एजुकेशन लोन लेने के बारे में सोच रहे हैं तो यहां पर आपके लिए SBI बैंक द्वारा दी जा रही एक स्टूडेंट लोन स्कीम के बारे में जानकारी दी जा रही है। जिसपर आप 7.5 लाख रुपये तक का लोन पा सकते हैं।
शुन्य प्रोसेसिंग शुल्क पर 15 साल तक चुकाने का समय
अगर आप स्टूडेंट लोन स्कीम का लाभ उठाते हैं तो आपको 20 लाख रुपये तक पर कोई भी प्रोसेसिंग फी नहीं देनी होती है, लेकिन अगर आप इससे अधिक तक का लोन लेते हैं तो आपको 10,000 का प्लस टैक्स देना होगा। इसमें 15 साल का समय कर्ज चुकाने के लिए दिया जाता है। जो लोन लेने के एक साल बाद से शुरू होता है।
गारंटी की नहीं होगी जरूरत
7.5 लाख रुपये तक का लोन एसबीआई की ओर से केवल माता-पिता और घर के अभिभावक के आधार पर दे दी जाती है। इसमें किसी भी तीसरे पक्ष की जरूरत नहीं होती है। लेकिन 7.5 लाख रुपये से अधिक लोन लेते हैं तो माता- पिता के साथ ही गारेंटर की जरूरत होती है।
छूट
4 लाख रुपये तक के लोन पर कोई मार्जिन नहीं दिया जाता है। लेकिन अगर 4 लाख रुपये से ऊपर के लोन लेते हैं तो भारत में पढ़ाई के लिए 5%, विदेश में पढ़ाई के लिए 15% तक का मार्जिन मिल सकता है।
ईएमआई जनरेशन
यदि चुकौती शुरू होने से पहले पूरा ब्याज चुकाया जाता है तो ईएमआई केवल मूल राशि के आधार पर तय की जाती है। नहीं तो ईएमआई ब्याज के साथ जोड़कर तय की जाती है।
लोन इनटरेस्ट रेट
7.5 लाख तक के लोन पर आपको बाहरी बेंचमार्क आधारित उधार दर (EBLR) ब्याज दर 6.65% और स्पीड रेट 2.00% लगाया जाता है। यानी कि 7.5 लाख रुपये तक के लोन पर आपको 8.65% ब्याज देना होता है। 7.5 लाख से ऊपर के लोन पर भी यही ब्याज दर लागू होता है। वहीं गर्ल स्टूडेंट के लिए 0.50 फीसद के ब्याज में छूट भी दी जाती है।
