राजस्थान सरकार ने कहा है कि यदि पतंजलि की ओर से तैयार की गई कोरोना किट राज्य में बिकती है तो कड़ा ऐक्शन लिया जाएगा। राज्य के स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा ने कहा कि किसी भी आयुर्वेदिक दवाई की बिक्री तभी की जा सकती है, जब उसे आयुष मंत्रालय की ओर से अप्रूवल मिल गया हो। राज्य सरकार का कहना है कि आयुष मंत्रालय की अनुमति के बिना इस दवा का इस्तेमाल नहीं किया जा सकता।
राजस्थान सरकार ने कहा है कि यदि पतंजलि की ओर से तैयार की गई कोरोना किट राज्य में बिकती है तो कड़ा ऐक्शन लिया जाएगा। राज्य के स्वास्थ्य मंत्री रघु शर्मा ने कहा कि किसी भी आयुर्वेदिक दवाई की बिक्री तभी की जा सकती है, जब उसे आयुष मंत्रालय की ओर से अप्रूवल मिल गया हो। राज्य सरकार का कहना है कि आयुष मंत्रालय की अनुमति के बिना इस दवा का इस्तेमाल नहीं किया जा सकता। रघु शर्मा ने कहा कि इस दवा को लेकर न तो किसी ने राज्य सरकार के समक्ष अप्लाई किया है और न ही किसी को इस संबंध में कोई मंजूरी दी गई है।
उन्होंने कहा कि इस साल अप्रैल में ही सरकार ने ड्रग्स ऐंड कॉस्मेटिक ऐक्ट 1940 और 1945 के तहत गजट नोटिफिकेशन जारी किया गया था। इसमें यह स्पष्ट किया गया था कि केंद्रीय आयुष मंत्रालय की ओर से मंजूरी के बिना कोरोना ठीक करने के नाम पर किसी भी आयुर्वेदिक दवा की बिक्री नहीं की जा सकती। सूबे के स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि राज्य में किसी भी आयुर्वेदिक दवा की बिक्री और कोरोना के इलाज के लिए आयुष मिनिस्ट्री और आईसीएमआर की ओर से तय किए गए निर्देशों का पालन किया जाएगा।
राजस्थान के स्वास्थ्य मंत्री ने ट्रायल को लेकर भी हिदायत दी। रघु शर्मा ने कहा कि राज्य सरकार की अनुमति के बिना कोई भी ह्यूमन क्लिनिकल ट्रायल नहीं किया जा सकता। बिना मंजूरी के ऐसा करने वालों और लोगों को भ्रमित करने वालों पर कड़ा ऐक्शन भी लिया जाएगा। दरअसल मंगलवार को बाबा रामदेव ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर कोरोना ठीक करने की दवा तैयार करने का ऐलान किया था और कोरोनिल नाम से दवा की किट लॉन्च की थी। उसके बाद से ही दवा को लेकर सवाल उठ रहे हैं।
दवा की लॉन्चिंग के बाद आयुष मंत्री श्रीपद नाइक ने कहा था कि भले ही पतंजलि ने देश को एक नई दवा देने की कोशिश की है, लेकिन नियमों का पालन करना जरूरी है और मंजूरी के लिए रिपोर्ट मंत्रालय को भेजी जानी चाहिए थी। इसके बाद उत्तराखंड सरकार के आयुष विभाग ने दवा बनाने के लाइसेंस के दावे पर ही सवाल खड़ा कर दिया। विभाग के लाइसेंस अधिकारी ने कहा कि पतंजलि को इम्युनिटी बूस्टर तैयार करने की मंजूरी दी गई थी, लेकिन दवा बनाने की बात इसमें शामिल नहीं थी।

