कार सेक्टर का हैचबैक सेगमेंट सस्ती कारों के अलावा प्रीमियम कारों के लिए भी पसंद किया जाता है जिसमें आज हम क्रॉस हैचबैक कारों के बारे में बात कर रहे हैं।

क्रॉस हैचबैक सेगमेंट में मौजूद कारों की बड़ी रेंज में आज हम बता रहे हैं मारुति इग्निस के बारे में जो अपने डिजाइन और फीचर्स के लिए पसंद की जाती है।

मारुति इग्निस के सिग्मा वेरिएंट की बात करें तो इसकी शुरुआती कीमत 5,25,000 रुपये (एक्स शोरूम) है जो ऑन रोड होने पर 5,77,610 रुपये हो जाती है लेकिन आज इस कार को बिना इतनी बड़ी रकम एक साथ खर्चे आसान डाउन पेमेंट प्लान के जरिए घर लेकर जा सकते हैं।

ऑनलाइन डाउन पेमेंट और ईएमआई कैलकुलेटर के मुताबिक, अगर आप इस मारुति इग्निस का सिग्मा वेरिएंट खरीदते हैं तो इसके लिए कंपनी से जुड़ा बैंक 5,19,610 रुपये का लोन देगा।

इस लोन के बाद आपको 58 हजार रुपये की न्यूनतम डाउन पेमेंट देनी होगी और उसके बाद 10,989 रुपये की मंथली ईएमआई चुकानी होगी।

मारुति इग्निस पर मिलने वाले लोन को चुकाने के लिए बैंक ने 5 वर्ष का समय निर्धारित किया है जिसके साथ बैंक लोन की राशि पर 9.8 प्रतिशत वार्षिक दर से ब्याज लेगा।

डाउन पेमेंट प्लान को जानने के बाद अगर आप इस मारुति इग्निस सिग्मा वेरिएंट को खरीदना चाहते हैं तो यहां जान सकते हैं इसकी पूरी डिटेल।

(ये भी पढ़ेंप्रीमियम फीचर्स के साथ मिड रेंज में आती हैं ये टॉप 3 सनरूफ कार, जानें कीमत और फीचर्स की पूरी डिटेल)

मारुति इग्निस के इंजन और पावर की बात करें तो इसमें 1197 सीसी का इंजन दिया गया है जो 81.80 बीएचपी की पावर और 113 एनएम का पीक टॉर्क जनरेट करता है और इसके साथ मैनुअल ट्रांसमिशन दिया गया है।

(ये भी पढ़ेंमात्र 4 लाख के बजट में ये टॉप 3 कार देती हैं पेट्रोल पर 22 और CNG पर 31 kmpl तक की धांसू माइलेज)

फीचर्स की बात करें तो मारुति इग्निस में मल्टी फंक्शन स्टीयरिंग व्हील, पावर एडजस्टेबल एक्सटीरियर रियर व्यू मिरर, टच स्क्रीन इंफोटेनमेंट सिस्टम, ऑटोमैटिक क्लाइमेट कंट्रोल, इंजन स्टार्ट स्टॉप बटन, एंटी लॉक ब्रेकिंग सिस्टम, जैसे फीचर्स को दिया गया है।

माइलेज को लेकर मारुति सुजुकी का दावा है कि ये कार 20.89 किलोमीटर प्रति लीटर का माइलेज देती है जिसे ARAI द्वारा प्रमाणित किया गया है।

आवश्यक सूचना: मारुति इग्निस पर मिलने वाले लोन, डाउन पेमेंट और ब्याज दरों का प्लान आपकी बैंकिंग और सिबिल स्कोर पर काफी हद तक निर्भर करता है। अगर आपकी बैंकिंग और सिबिल स्कोर में नेगेटिव रिपोर्ट निकलती है तो बैंक इन तीनों में अपने अनुसार परिवर्तन कर सकता है।