आधार कार्ड आजकल हर किसी के लिए बेहद अहम दस्तावेज बन चुका है। बैंक खाते और अन्य जगहों पर पहचान पत्र से लेकर पते के प्रमाण-पत्र के तौर पर इसका इस्तेमाल होता है। ऐसे में यह और इससे जुड़ी आधार संख्या किसी के लिए भी बेहद संवेदनशील रहती है। ऐसे में इसके गुम होने पर लोग अक्सर काफी परेशान हो जाते हैं।

जानकारी के अभाव में वह भ्रमित रहते हैं और इस चीज को हल्के में लेते हैं, जबकि आधार कार्ड खोने के बाद फौरन इसकी शिकायत पुलिस में देनी चाहिए। एक्सपर्ट्स और वकीलों की मानें तो आधार चोरी या खो जाने के संबंध में दी गई एफआईआर भविष्य में पैदा होने वाली समस्याओं से किसी को भी बचा सकती हैं। ऐसे में यह छोटा सा कदम आपको आगे आने वाली बड़ी समस्या से बचा सकता है।

हालांकि, आधार गुम होने से जुड़ी एफआईआर की एक प्रति पास रखना बेहद जरूरी होता है, क्योंकि उसी के आधार पर गड़बड़ी की स्थिति में व्यक्ति अपना पक्ष आगे रख सकेगा। अगर एफआईआर कराने के बाद भी आधार का गलत इस्तेमाल किया जाता है, तब पुलिस शिकायतकर्ता को खुद-ब-खुद संपर्क करेगी और आगे की जांच करेगी।

आधार की कॉपी सहेज कर रखने का फायदा यह होगा कि मान लें कल को कोई हैकर या जालसाज आपके आधार का प्रयोग कर फर्जीवाड़े को अंजाम दे, तब आप सबूत के तौर पर एफआईआर दिखा सकेंगे और साबित कर सकेंगे कि उस घटना से पहले ही आपका आधार गुम हो चुका था।

आधार नंबर पता चलने पर क्या कोई दूसरा व्यक्ति बैंक खाता कर सकता है हैक?: यूआईडीएआई के मुताबिक, यह बात पूरी तरह से गलत है। जिस तरह आपके एटीएम कार्ड नंबर जानने के बाद भी कोई एटीएम से आपके खाते से कोई कैश नहीं निकाल सकता, वैसे ही सिर्फ आधार नंबर के जरिए कोई आपका खाता नहीं हैक सकता और पैसे नहीं निकाल सकता। यही नहीं, आपका बैंक खाता बिल्कुल सुरक्षित होगा, अगर आप उसे बैंक द्वारा दिए गए पिन/ओटीपी से अलग नहीं रखते होंगे।