राजस्थान के सरकारी कर्मचारियों के लिए खुशखबरी सामने आई है। मंगलवार को जारी एक आधिकारिक बयान में कहा गया कि करीब 7.50 लाख सरकारी कर्मचारियों को वित्तीय वर्ष 2019-20 के लिए उनकी बीमा पॉलिसियों पर बोनस दिया जाएगा। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने राज्य कर्मचारियों के लिए बोनस देने की मंजूरी दे दी है।
राजस्थान के सीएम ने इसके लिए एक्चुअरी वैल्यूएशन की रिपोर्ट को मंजूरी दे दी है। इसके तहत पॉलिसी के लिए 90 रुपए प्रति हजार तथा आजीवन पॉलिसी के लिए 112.5 रुपए प्रति हजार की दर से साधारण रिवर्सनरी बोनस दिया जाएगा।
छात्रों को मिलेगा महंगाई भत्ता
सीएम ने मंगलवार को ट्विटर पर जानकारी दी कि वेटरनरी के इंटर्न छात्रों को देय स्टाईपेंड पर आयुर्वेद और मेडिकल इंटर्न छात्रों के समान महंगाई भत्ता दिए जाने के प्रस्ताव को भी मंजूरी दी गई है। यानी कि अब वेटरनरी के इंटर्न विद्यार्थियों को स्टाईपेंड के साथ-साथ महंगाई भत्ता दिया जाएगा।
कितना मिलेगा भत्ता
मंजूरी के बाद से इन छात्रों को महंगाई भत्ता एक अप्रैल, 2022 से दिया जाएगा। गौरतलब है कि 2022-23 के बजट में की गई घोषणा के अनुरूप वेटनरी इंटर्न छात्रों को देय स्टाईपेंड 3500 रुपए से बढ़ाकर 14000 रुपए करने के आदेश पूर्व में जारी किए जा चुके हैं।
पुरानी पेंशन बहाल का फैसला
वहीं इससे पहले सोमवार को मुख्यमंत्री ने कहा था कि राजस्थान सरकार ने पुरानी पेंशन योजना को बहाल करने का फैसला किया है, जिसमें कोई राजनीति शामिल नहीं है। उन्होंने कहा कि यह फैसला विचार-विमर्श के बाद लिया गया है और केंद्र सरकार से भी कर्मचारियों को लाभ देने के लिए अपील की गई है।
सीएम ने कहा कि ओल्ड पेंशन स्कीम के तहत 1 जनवरी 2004 को और उसके बाद नियुक्त सरकारी कर्मचारी राजस्थान सरकार स्वास्थ्य योजना (आरजीएचएस) के तहत पेंशन लाभ और कैशलेस चिकित्सा सुविधा के लिए पात्र होंगे।