केंद्र सरकार ने 30 अगस्त को 10 बैंकों को मिला कर चार बैंक बनाए जाने का ऐलान किया था। पंजाब नेशनल बैंक या पीएनबी (Punjab National Bank – PNB)) बैंक में अब यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया (United Bank of India) ओरियंटल बैंक ऑफ कॉमर्स (Oriental Bank of Commerce) का विलय की घोषणा की थी।
यूनियन बैंक ऑफ इंडिया (Union Bank of India) में आंध्रा बैंक (Andhra Bank ) और कॉरपोरेशन बैंक (Corporation Bank) को मिलाया जाना है। केनरा बैंक ( Canara Bank) के साथ सिंडिकेट (Syndicate Bank) बैंक का विलय होगा। इंडियन बैंक (Indian Bank) में इलाहाबाद बैंक (Allahabad Bank) का मर्जर होगा। यदि आपका विलय होने वाले बैंकों में खाता है तो आप पर कुछ इस तरह से असर पड़ सकता है।
खाता संख्या, कस्टमर आईडीः यदि आपके बैंक का पीएनबी, यूनियन बैंक ऑफ इंडिया या फिर इंडियन बैंक में मर्जर हो रहा है तो आपको नया खाता नंबर या फिर नई कस्टमर आईडी मिल सकती है। आप यह सुनिश्चित कर लें कि आपका ई-मेल एड्रेस/घर का पता और मोबाइल नंबर बैंक में अपडेट हो जिससे आपको अपने बैंक की तरफ से किसी भी तरह की आधिकारिक जानकारी मिलने में दिक्कत ना हो।
यदि आपका पीएनबी और ऑरिएंटल बैंक दोनों में खाता है तो संभव है कि आपको दोनों खातों के बदले एक ही कस्टमर आईडी मिल जाए। मर्जर के बाद लोन की ब्याज दर में आंशिक बदलाव संभव हो सकता है। यदि आपने वित्तीय लेनदेन के लिए बैंक खाता और आईएफसी नंबर ईसीएस के जरिये लाभांश ऑटो क्रेडिट, अन्य बिलों के भुगतान के लिए दिया है तो आपकों इन्हें बदलने की जरूरत पड़ेगी।
जिन कस्टमर को नई आईएफसी कोड मिलेगा उन्हें थर्ड पार्टी जहां उन्होंने अपनी बैंक डिटेल दी है उसे बदलवाना पड़ेगा। इसमें आयकर रिफंड के लिए के लिए इनकम टैक्स डिपार्टमेंट, इंश्योरेंस कंपनी, एनपीएस व अन्य शामिल हैं। संभव है मर्जर के बाद कुछ बैंक अपनी ब्रांच को बंद कर दें। दोनों बैकों का एक ही क्षेत्र या पास में बैंक होने के कारण ऐसा संभव है।
यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया, ऑरिएंटल बैंक ऑफ कॉमर्स, आंध्र बैंक या कॉर्पेरेशन बैंक के कस्टमर है तो आपके लिए एटीएम का विकल्प बढ़ जाएगा। पीएनबी, ओबीसी और यूनाइटेड बैंक ऑफ इंडिया के मर्जर के बाद पीएनबी भारत का दूसरा सबसे बड़ा सरकारी बैंक बन जाएगा।