केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन करते किसानों को आज 1 साल हो गया। हालांकि कुछ दिन पहले ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इन तीनों कृषि कानूनों के वापसी का भी ऐलान कर दिया है। किसान आंदोलन के दौरान कई बार ऐसी घटनाएं हुई जिसके कारण कई किसानों की जान भी चली गई।

पिछले 1 साल से चल रहे किसान आंदोलन को लेकर भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत कई टीवी चैनलों पर अपनी बात रखते नजर आते हैं। उनसे टाइम्स नाउ नवभारत चैनल के कार्यक्रम में किसान आंदोलन से जुड़े कई सवाल पूछे गए थे। कई राज्यों से आए उपचुनाव के नतीजे पर एंकर सुशांत सिन्हा ने उनसे सवाल किया था कि उपचुनाव के नतीजों में बीजेपी और गठबंधन को पिछली बार से 1 सीट ज्यादा ही आई है। आपके आंदोलन का क्या प्रभाव पड़ रहा है?

इसके जवाब में राकेश टिकैत ने कहा था, ‘ चलिए ठीक ही है… अच्छी बात है। ‘ जिसके बाद एंकर ने पूछा – आप कहते हैं कि देश भर का किसान नाराज हैं। अगर ऐसी बात है तो बीजेपी जीत कैसे रही है? इस पर राकेश टिकैत ने कहा था – महंगाई पर लोग इनको वोट दे रहे हैं क्या? अगर हम अपने फसल का रेट मांग रहे हैं तो क्या गलत कर रहें?

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एंकर ने कहा था कि, ‘आप का रेट मांगना ठीक है, लेकिन उनके लिए जो रास्ता रोका गया है वह ठीक नहीं है। आप उसके लिए जिस तरह का प्रदर्शन कर रहे हैं। वह भी ठीक नहीं है। आप इसे देश का आंदोलन क्यों बताते हैं? इसके जवाब में टिकैत ने कहा था – जब आंदोलन पूरे देश में हो रहा है तो इसे पूरे देश का ही आंदोलन माना जाएगा। आप सबकी आवाज बंद कर देना चाहते हो क्या?

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एंकर ने हरियाणा के उपचुनाव को लेकर पूछा कि वहां पर भी एक सीट पर चुनाव होना था। जिसमें बीजेपी को 40% वोट मिले हैं? टिकैत ने जवाब दिया था – हम किसी को इलेक्शन नहीं लड़ा रहे हैं, हम केवल किसानों के मुद्दे की लड़ाई लड़ रहे हैं। जानकारी के लिए बता दें कि किसान बिल वापसी होने के बाद भी किसान आंदोलन जारी रखे हुए हैं। इसको लेकर राकेश टिकैत का कहना है कि सरकार ने एमएसपी सहित कई और मुद्दों पर बात नहीं की है।