हिंडनबर्ग रिपोर्ट के आधार पर कारोबारी गौतम अडानी पर लगे आरोपों की जांच की मांग वाली याचिकाओं पर सुप्रीम कोर्ट ने अपना फैसला सुनाते हुए जांच के लिए 6 सदस्यीय एक्सपर्ट कमेटी के गठन का आदेश दिया है। इसके साथ ही सेबी (SEBI) को गड़बड़ी जांच जारी रखने का भी आदेश दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने जिस एक्सपर्ट कमेटी के गठन का आदेश दिया है, उसमें 6 सदस्य होंगे, जिसकी अध्यक्षता रिटायर जस्टिस एएम साप्रे करेंगे। इस पर गौतम अडानी की प्रतिक्रिया सामने आई है।
सुप्रीम कोर्ट के फैसले पर क्या बोले अडानी?
गौतम अडानी की तरफ से ट्वीट कर कहा गया है कि अडानी समूह माननीय सर्वोच्च न्यायालय के आदेश का स्वागत करता है। इससे चीजें समयबद्ध तरीके से निष्कर्ष पर पहुंचेंगी। सत्य की जीत होगी। गौतम अडानी के इस ट्वीट पर तमाम लोग तरह-तरह की टिप्पणी कर रहे हैं।
आप नेताओं ने ऐसे बोला हमला
आप नेता संजय सिंह ने कहा है कि आज साबित हो गया मोदी सरकार महाभ्रष्ट भी है और नकारा भी। मोदी जी ने अडानी को बचाने की पूरी कोशिश की संपूर्ण विपक्ष ने JPC की माँग की सरकार नही मानी। अब सुप्रीम कोर्ट को हस्तक्षेप करना पड़ा इससे साफ़ है। “मोदी का हाथ भ्रष्ट अडानी के साथ”। आप नेता नरेश बालियान ने लिखा है कि सोचिए कितने शर्म की बात है की जो काम आज सुप्रीम कोर्ट कर रही है वो काम सरकार को निष्पक्ष हो कर करना था।
यूजर्स की प्रतिक्रियाएं
@Minakshishriyan यूजर ने लिखा कि भारतवर्ष का आपमें विश्वास है। वैश्विक स्तर पर भारत का उद्योगपति चमक रहा है, यही बात भारत विरोधियों को स्वीकार नहीं हो पा रही है। एक यूजर ने लिखा कि अडानी जी का कांफिडेंस बता रहा है कि सब मिले हुए हैं जी। एक यूजर ने लिखा कि 35 साल पुरानी कंपनी vs एक रिपोर्ट, कंपनी का कुछ बिगड़ नहीं सकती । ये देश विरोधी ताकते है जो देश की तरक़्क़ी नहीं देख सकती।
इससे पहले कोर्ट ने सुनवाई के बाद फाइनेंशियल सेक्टर में अनियमितताओं को रोकने के लिए सरकार से जवाब मांगा था। केंद्र सरकार ने कहा कि वो इस मामले में जांच कर रही है। जबकि कोर्ट में सेबी ने अपने जवाब में कहा कि उसने मार्केट में स्थिरता लाने और निवेशकों की पूंजी बचाने के लिए जो भी तरीके मौजूद हैं, उसका इस्तेमाल किया। सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस डीवाई चंद्रडूड़ (DY Chandrachud) ने सेबी की जांच जारी रखने का भी निर्देश दिया। SEBI स्टॉक मार्केट में मैनिपुलेशन की जांच करेगी और अपनी रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट को सौंपेगी।