Asaduddin Owaisi Maharashtra Election 2024: हैदराबाद के सांसद और AIMIM के प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी महाराष्ट्र में एक चुनावी जनसभा के मंच पर थे। लेकिन इस दौरान पुलिस ने उन्हें नोटिस थमा दिया। जब ओवैसी AIMIM के समर्थकों को संबोधित करने के लिए उठे तो ओवैसी ने मंच पर ही अपना मोबाइल फोन निकाला और बताया कि अभी 9:45 हुआ है और चुनाव प्रचार खत्म होने में 15 मिनट का वक्त बाकी है और अपनी बात जारी रखी। उन्होंने खुद को पुलिस महकमे का भाईजान बताया। ओवैसी ने कहा कि महाराष्ट्र में वह चुनाव प्रचार के लिए जहां भी जाते हैं उन्हें पुलिस नोटिस थमा देती है।

बताना होगा कि महाराष्ट्र के विधानसभा चुनाव में इस बार AIMIM 16 विधानसभा सीटों पर चुनाव लड़ रही है। तेलंगाना के बाहर महाराष्ट्र ही एक ऐसा प्रदेश है जहां पर AIMIM का मजबूत आधार है।

ओवैसी ने नोटिस थमाए जाने के बाद सवाल पूछा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को नोटिस नहीं दिया लेकिन ओवैसी को नोटिस दे दिया गया है। ओवैसी ने हल्के-फुल्के अंदाज में कहा कि पुलिस ने उन्हें लव लेटर दिया है। ओवैसी ने इस नोटिस में क्या-क्या लिखा है, यह भी पढ़कर लोगों को बताया। इस दौरान उनके समर्थकों ने जमकर तालियां बजाई।

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ओवैसी ने कहा कि तीन दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी महाराष्ट्र में चुनाव प्रचार करने आए थे और उन्हें नोटिस दिया जाना चाहिए था लेकिन उन्हें नोटिस नहीं दिया गया। उन्होंने कहा कि जहां भी वह महाराष्ट्र में चले जाते हैं उन्हें इस तरह का नोटिस दे दिया जाता है।

2019 के विधानसभा चुनाव में AIMIM ने 44 और 2014 के विधानसभा चुनाव में 22 सीटों पर चुनाव लड़ा था। लेकिन इस बार AIMIM कम सीटों पर चुनाव लड़ रही है। तेलंगाना से बाहर निकलकर AIMIM ने उत्तर प्रदेश, बिहार, मध्य प्रदेश, गुजरात, पश्चिम बंगाल सहित कई राज्यों में चुनाव लड़ा लेकिन वहां उसे उम्मीद के मुताबिक कामयाबी नहीं मिल सकी।

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AIMIM को MVA में नहीं मिली जगह

महाराष्ट्र के विधानसभा चुनाव में AIMIM ने बहुत कोशिश की थी कि उसे महा विकास अघाड़ी (MVA) गठबंधन में शामिल कर लिया जाए लेकिन शायद कांग्रेस और MVA के बाकी राजनीतिक दल इसके लिए तैयार नहीं थे। महाराष्ट्र के विधानसभा चुनाव में महायुति (बीजेपी, मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे की शिवसेना, उपमुख्यमंत्री अजित पवार की एनसीपी) और MVA (कांग्रेस, शरद पवार की एनसीपी, उद्धव ठाकरे की शिवसेना) के बीच जोरदार टक्कर हो रही है। ऐसे में AIMIM के 16 सीटों पर लड़ने से महायुति को फायदा होगा या MVA को नुकसान होगा, इस पर एक अलग राजनीतिक बहस महाराष्ट्र की राजनीति में चल रही है।

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AIMIM को उम्मीद है कि वह विधानसभा चुनाव में 5 से 7 सीटें जीत सकती है। AIMIM ने मुस्लिम-दलित वोटों पर फोकस किया है। पार्टी ने आरक्षित सीटों पर दलित समुदाय के उम्मीदवारों को टिकट दिया है और चुनाव में मॉब लिंचिंग, अल्पसंख्यकों का उत्पीड़न और हिजाब को मुद्दा बनाया है।

11.56% हैं मुस्लिम मतदाता

महाराष्ट्र की कुल आबादी 11.24 करोड़ है और इसमें मुस्लिम मतदाता 11.56% हैं। इस तरह महाराष्ट्र में मुस्लिम समुदाय की आबादी 1.3 करोड़ है। महाराष्ट्र में विधानसभा की कुल 288 सीटें हैं और इसमें से 15 सीट ऐसी हैं जिनमें मुस्लिम समुदाय की आबादी 30% से ज्यादा है।