पश्चिम बंगाल में चौथे चरण के मतदान जारी हैं। वोटिंग वाले कई इलाकों में सुबह से ही झड़प की खबरें आ रही हैं। कूचबिहार के सीतल्कूची में भाजपा और टीएमसी के समर्थकों में झड़प हो गई। यहां उपद्रवियों ने सुरक्षाबलों की टीम पर हमला कर दिया, जवाबी कार्रवाई में सीएपीएफ ने गोलीबारी की, जिससे चार लोगों की मौत हो गई। इसके अलावा कूचबिहार में ही एक और जगह हिंसा में वोट देने के लिए खड़े एक व्यक्ति की जान चली गई।

इस बीच हुगली में भाजपा नेता लॉकेट चटर्जी के काफिले पर भीड़ ने हमला कर दिया। बताया गया है कि चटर्जी की कार पर पत्थर फेंके गए, जिससे उनकी कार का शीशा टूट गया। लॉकेट चटर्जी ने इस घटना के पीछे टीएमसी का हाथ बताया और कहा कि वे इसकी शिकायत चुनाव आयोग से करेंगी।

न्यूज एजेंसी एएनआई ने इस घटना का एक वीडियो भी जारी किया है। इसमें सैकड़ों की संख्या में चटर्जी की कार के आसपास जुटे लोगों को नारेबाजी करते देखा जा सकता है। इस दौरान सुरक्षाबल के जवान लगातार लोगों को काफिले के सामने से हटाते और लोगों को समझाते देखे जा सकते हैं। जवान हाथ में शील्ड लेकर लोगों को पीछे धकेलने का प्रयास भी करते हैं।

चुनाव आयोग को फोन कर की शिकायत: इस घटना के बाद चटर्जी ने घटनास्थल से ही चुनाव आयोग को फोन कर शिकायत दर्ज कराई। उन्होंने कहा, “मेरा गाड़ी तोड़ दिया गया है। लोगों ने पूरी टीम लेकर पत्रकारों से भी मारपीट किया है। हमारे बहुत सारे लोग वहां फंसे हैं। सीआरपीएफ का फोर्स पर्याप्त नहीं है। मीडिया के लोग भी वहां फंसे हैं। मुझे भी चोटें आई हैं। तुरंत अतिरिक्त फोर्स भेजिए। ये लोग बहुत मारे हैं मीडिया वालों को भी।”

कब हुई घटना?: लॉकेट चटर्जी हुगली में रह कर ही बूथों का दौरा कर रही थीं। वे टीएमसी समर्थकों द्वारा वोटिंग में घपले की खबर पाकर बूथ नंबर 66 के पास पहुंचीं और वहां के हालात का जायजा लिया। उनके बाहर आते ही कथित स्थानीय लोगों ने नारेबाजी शुरू कर दी। चटर्जी का कहना है कि उन्होंने टीएमसी की महिला कार्यकर्ताओं को फर्जी वोटिंग करते पकड़ लिया था, इसलिए उन पर हमला हुआ है।

सुबह किए थे हनुमान मंदिर के दर्शन: बता दें कि भाजपा की सांसद लॉकेट चटर्जी हुगली की चुंचुड़ा सीट से लड़ रही हैं। उन्होंने सुबह ही हुगली के हनुमान मंदिर में जाकर पूजा-अर्चना की। यहां उन्होंने अपनी जीत की बात दोहराई। लॉकेट के चुनाव लड़ने पर बंगाल की सीएम ममता बनर्जी चुटकी ले चुकी हैं। उन्होंने कहा था कि भाजपा के पास योग्य उम्मीदवार नहीं है, जिसके चलते उसे अपने सांसदों को चुनावी मैदान में उतारना पड़ा है।