उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव के बीच, भाजपा ने एक बार फिर गरीब सवर्णों के आरक्षण का मुद्दा उठाया है। भाजपा ने आरक्षण के मुद्दे पर समाजवादी पार्टी, बसपा और कांग्रेस को घेरा है। भाजपा ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से शेयर किए गए वीडियो के साथ कहा कि जात-पात करके वोटबैंक की राजनीति करने वाली सपा-बसपा-कांग्रेस ने कभी गरीब सवर्णों की बात नहीं की।
यूपी बीजेपी के ट्विटर हैंडल से शेयर किए गए वीडियो को कैप्शन दिया गया है, “मोदी सरकार ने गरीब सवर्णों को सरकारी नौकरियों और शिक्षण संस्थाओं में 10 प्रतिशत आरक्षण देकर नई शुरुआत की। अब गरीब का बेटा भी डॉक्टर, इंजीनियर बन सकता है।” इसके साथ ही भाजपा ने गरीब सवर्णों को आरक्षण देने के मुद्दे पर यूपी की प्रमुख विपक्षी पार्टियों पर निशाना साधा है।
इस वीडियो के जरिए दावा किया गया है कि भाजपा गरीब सवर्णों की चिंता करती है। केंद्र सरकार ने पिछले साल गरीब सवर्णों के लिए 10 फीसदी आरक्षण का प्रावधान किया था। भाजपा अब इस मुद्दे को लेकर यूपी चुनाव में विपक्ष को घेरती दिखाई दे रही है। वहीं, भाजपा के इस दावे पर सोशल मीडिया पर तरह-तरह की प्रतिक्रियाएं आ रही हैं।
एक यूजर (@critic_03) ने लिखा, “जातिवादी भाजपा की सच्चाई जानिए। OBC व SC को भाजपा को वोट नहीं देना चाहिए।” एक अन्य यूजर (@mvermaald) ने कहा, बिल्कुल सही कह रहे हो बीजेपी सिर्फ गरीब सवर्णों की ही नहीं अमीर सवर्णों की भी चिंता करती है। बस उसे दलित और पिछड़ों की कोई चिंता नहीं है वह सिर्फ चाहती है कि यह लोग उसे वोट दें और भला हो सिर्फ सवर्णों का करें इसलिए इस बार उत्तर प्रदेश से भाजपा साफ।”
इसी तरह एक अन्य यूजर ने लिखा, “इसका फायदा विधायक सतीश द्विवेदी जैसे बीजेपी के गरीब सवर्णों को मिलता है। और NEET में 27% ओबीसी आरक्षण बढ़ाने का नुकसान हर सवर्ण को साथ ही सवर्णों को SC ST एक्ट का भी बेमिसाल तोहफा दिया है। बीजेपी ने गैरतमंद सवर्ण कभी भाजपा को वोट नहीं करेगा।”
