आजम खान से मिलने पहुंचे शिवपाल यादव ने अखिलेश यादव के साथ-साथ नेता जी को भी निशाने पर लिया। इससे सवाल उछा कि क्या अब चाचा-भतीजे के बाद भाइयों में भी टूट हो गई है। शिवपाल के तेवरों से साफ है कि वो मुलायम परिवार के साथ आरपार की लड़ाई के मूड़ में हैं। उनका अगला कदम क्या रहने वाला है इस पर एक न्यूज चैनल ने डिबेट की।

वरिष्ठ पत्रकार सैयद कासिम ने यूपी तक पर एक डिबेट में कहा कि जो कुछ शिवपाल ने कहा वो आजम की जुबां हैं। शिवपाल ने केवल जेल से बाहर आने के बाद उनकी कही बातें मीडिया के सामने रख दीं। उनका कहना था कि जो कुछ कहा गया है वो दिन ब दिन बढ़ेगा। मुलायम का हर कदम अखिलेश के हक में रहा है। उन्होंने कभी शिवपाल की मदद नहीं की।

यूपी तक पर उनका कहना था कि इसी वजह से शिवपाल के ज्यादा दिनों तक मुलायम के साथ रहने की उम्मीद नहीं है। वो अपने भाई पर आने वाले दिनों में हमलावर हो सकते हैं। शिवपाल और आजम खान का मिलन नई पटकथा लिख रहा है। वो जेल में बंद नेता के पास बीजेपी का पैगाम लेकर गए थे। इसके नतीजे दो चार दिनों में सामने आने शुरू हो जाएंगे।

पत्रकार अनुपम मिश्र ने कहा कि बीजेपी शिवपाल को अपने पास बुलाने से ज्यादा विपक्ष की आवाज बनाना पसंद करेगी। इसमें बीजेपी को फायदा ज्यादा होने की उम्मीद है। शिवपाल बीजेपी में आते हैं तो एक नेता बनकर रह जाएंगे। जबकि विपक्ष में रहकर उथल पुथल मचाते हैं तो ज्यादा प्रभावी साबित होंगे।

उनका कहना था कि मुलायम सिंह की पीएम मोदी से नजदीकी है। दोनों के संबंध बहुत अच्छे हैं। लेकिन उनकी भी मजबूरी है कि वो किस किस को बचाएं। अपना बेटा उनके लिए ज्यादा महत्व रखता है। उनका कहना है कि आजम को इस बात का मलाल है कि मुलायम ने उनकी परेशानी को संसद में नहीं उठाया। जयंत चौधरी के बयान पर उन्होंने कहा कि वो सिरे से अखिलेश को खारिज कर रहे हैं। जयंत ने हाल ही में कहा था कि यूपी को एक नए राजनीतिक विकल्प की जरूरत है।