भाजपा के पूर्व नेता नूपुर शर्मा की ओर से पैगंबर मोहम्मद के खिलाफ की गई अपमानजनक टिप्पणी के विरोध में सहारनपुर में हुई हिंसा के एक दिन बाद शनिवार (11-जून-2022) को जिला प्रशासन ने कड़ा एक्शन लेते हुए गिरफ्तार किए गए दो आरोपियों मुजम्मिल और अब्दुल वकीर के घरों में हुए अवैध निर्माण को बुलडोजर (Bulldozer) से गिरा दिया। इस बीच कानपुर में भी हिंसा के आरोपी मोहम्मद इश्तियाक की बिल्डिंग को भी तोड़ दिया गया।

पुलिस ने जानकारी देते हुए कहा  संबंधित अधिकारियों द्वारा नक्शे की मंजूरी के बिना ही घरों का निर्माण किया गया था। सहारनपुर के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (Additional Superintendent of Police) राकेश कुमार ने कहा कि पुलिस शुक्रवार की हिंसा में शामिल आरोपियों की पहचान कर उनके खिलाफ ‘सख्त कार्रवाई’ कर रही है। हम उन्हें गिरफ्तार कर रहे हैं और अवैध तरीके से अर्जित की गई संपत्तियों पर कार्रवाई कर रहे हैं।

उन्होंने आगे कहा कि हिंसा के आरोपी मुजम्मिल और अब्दुल वकीर के घरों पर छापे के दौरान पाया गया कि उनके घर बिना नक़्शे के अवैध तरीके से बनाए गए थे। इस कारण उनके घर पर बुलडोजर  से कार्रवाई की गई है।

सहारनपुर पुलिस ने बताया कि हिंसा के मामले में अब तक कुल 64 लोगों को गिरफ्तार किया जा चुका है। वहीं सहारनपुर के एसएसपी आकाश तोमर ने कहा कि मामले में शामिल आरोपियों के खिलाफ राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (एनएसए) लगाया जाएगा।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने शनिवार को कानून व्यवस्था की स्थिति की समीक्षा की और वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए आयुक्तों, जिलाधिकारियों, पुलिस अधीक्षकों और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों से बातचीत की। सीएम ने कहा कि पुलिस और प्रशासन चौबीसों घंटे सतर्क रहें, दंगाइयों के खिलाफ कार्रवाई करें और धर्मगुरुओं और प्रतिष्ठित लोगों के साथ संवाद बनाए रखें।

इस मीटिंग के बाद सरकार की ओर से एक प्रेस रिलीज भी जारी की गई है, जिसमें कहा गया कि आरोपियों से ही सार्वजनिक और निजी संपत्तियों के नुकसान की वसूली की जाएगी। इसके साथ ही राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम (एनएसए) और यूपी गैंगस्टर्स अधिनियम के तहत सार्वजनिक व्यवस्था को बिगाड़ने का प्रयास करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। वहीं, सरकार की ओर से अधिकारियों को सपष्ट निर्देश दिए गए हैं कि अगर कोई भी आरोपी दूसरी बार अपराध में शामिल पाया जाता है, तो चार्जशीट में इसका उल्लेख करें और  संवेदनशील स्थानों पर पर्याप्त पुलिस बल तैनात करने और पैदल गश्त बढ़ाने को भी कहा गया है।

दूसरी ओर हिंसा के आरोपियों के खिलाफ प्रयागराज पुलिस भी एक्शन में दिखाई दे रही है। शुक्रवार (10-जून-2022) को हुई हिंसा के आरोप में 54 वर्षीय व्यापारी को गिरफ्तार किया है। पुलिस ने कहा कि अन्य आरोपियों से पूछताछ के दौरान जावेद की भूमिका का पता चला। वह हिंसा के मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक है। जावेद ने बंद का आह्वान किया था और लोगों से व्हाट्सएप संदेश के जरिए घटना स्थल पर पहुंचने को कहा था। जावेद को इलाके में ‘पंप’ के नाम भी जाना जाता है।

प्रयागराज एसएसपी अजय कुमार ने बताया कि जावेद से पूछताछ में उनकी बेटी का नाम सामने निकल कर आ रहा है। फिलहाल उसके खिलाफ कोई सबूत नहीं मिले हैं। अगर उनके खिलाफ कोई पुख्ता सबूत मिलता है तो कार्रवाई की जाएगी।