पूर्व प्रधानमंत्री और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मनमोहन सिंह को लेकर बनी फिल्म द एक्सिडेंटल प्राइम मिनिस्टर की रिलीज लेकर विवाद और बयानबाजी जारी है। मध्य प्रदेश में कांग्रेस की छात्र इकाई नेशनल स्टूडेंट्स यूनियन ऑफ इंडिया (एनएसयूआई) ने खुली चेतावनी है कि सिनेमाघर मालिक इस फिल्म को चलाने पर नतीजे भुगतने के लिए तैयार रहें। वे इसे अपने जोखिम पर चलाएं।
फिल्म को लेकर यह चेतावनी म.प्र एनएसयूआई के मुखिया विपिन वानखेडे ने दी है। उन्होंने फेसबुक के जरिए इस फिल्म को भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) का प्रोपेगेंडा बताया। साथ ही कहा कि अगर गलत तथ्यों और घटनाओं वाली यह फिल्म अगर सिनेमाघर या थियेटर मालिक दिखाएंगे तो वहां होने वाले नुकसान के लिए वे खुद ही जिम्मेदार होंगे।
हालांकि, वानखेडे से पहले सूबे में मुख्यमंत्री कमलनाथ के नेतृत्व वाली कांग्रेस सरकार ने साफ किया था इसे राज्य में फिलहाल बैन नहीं किया गया है। वहीं, एनएसयूआई की तरफ से मिली चेतावनी पर बीजेपी के प्रवक्ता उमेश शर्मा के हवाले से पीटीआई की रिपोर्ट में कहा गया, “सूबे में जहां भी यह फिल्म दिखाई जाएगी, वहां-वहां थियेटरों पर सीएम पुलिस बल तैनात करने के आदेश दें।”
इससे पहले, गुरुवार को मुंबई में एक कार्यक्रम के दौरान फिल्म का ट्रेलर जारी हुआ था, जिसे बाद में बीजेपी ने अपने टि्वटर हैंडल से शेयर किया था। वहीं, महाराष्ट्र में युवा कांग्रेस ने इस फिल्म की प्री-स्क्रीनिंग की मांग उठाई थी। कहा, “अगर हमारी मांगें पूरी न हुईं तो हमारे पास कई और विकल्प मौजूद हैं।” हालांकि, बाद में उन्होंने यह मांग वापस ले ली थी।
बता दें कि यह फिल्म 11 जनवरी 2019 को रिलीज होगी, जिसमें बॉलीवुड अभिनेता अनुपम खेर ने पूर्व पीएम का किरदार निभाया है। यह फिल्म मनमोहन सिंह के पूर्व मीडिया सलाहकार संजय बारू की किताब पर आधारित है।