ललितपुर थाने में रेप मामले पर अखिलेश यादव के तेवर बेहद तल्ख हैं। आज उन्होंने पीड़ित परिवार से मुलाकात के बाद सरकार पर निशाना साधा। बोले कि पुलिस को शुरुआत में ही सुनवाई करनी चाहिए थी तब सुनवाई नहीं की गई। उनका कहना था कि यूपी में अराजकता का माहौल है। क्या योगी सरकार पुलिस स्टेशन पर बुलडोजर चलाएगी कि नहीं।

अखिलेश का कहना था कि इस मामले से साफ दिखा कि जिनके कंधों पर लोगों की सुरक्षा का जिम्मा है वो ही उनके साथ खिलवाड़ कर रहे हैं। पुलिस को देखकर लोग सोचते हैं कि उन्हें न्याय मिलेगा लेकिन यहां तो उलटा हो रहा है। सीएम योगी कानून व्यवस्था का नाम लेकर अपनी पीठ थपथपाते नहीं थकते। इस मामले पर वो सरकार को कितने नंबर देंगे। पुलिस थाने में बलात्कार की शिकायत दर्ज कराने आई 13 साल की बच्ची से पुलिस वालों ने जो हैवानियत की वो खौफनाक है।

मामले के मुताबिक ललितपुर रेप मामले के आरोपी थानाध्यक्ष को आज प्रयागराज में गिरफ्तार कर लिया गया। पाली के थानाध्यक्ष तिलकधारी सरोज को आरोप लगने के बाद से ही थानाध्यक्ष फरार था। आरोपी इंस्पेक्टर लगातार फोन बदल रहा था। लेकिन उसके ही एक साथी ने पुलिस को सुराग दे दिया। फिर उसे इलाहाबाद हाईकोर्ट के पास से अरेस्ट कर लिया गया। आरोपी इंस्पेक्टर हाईकोर्ट के किसी वकील से मिलने के लिए वहां पहुंचा था।

पीड़िता की मां ने इंस्पेक्टर समेत 6 के खिलाफ रेप का केस दर्ज कराया है। आरोपी इंस्पेक्टर को पहले ही सस्पेंड कर दिया गया है। मानवाधिकार आयोग ने मुख्य सचिव और पुलिस महानिदेशक को नोटिस जारी करके इस मामले की रिपोर्ट मांगी है।

सोशल मीडिया पर इस वारदात को लेकर तूफान मचा है। अपर्णा सिंह ने लिखा कि अब बुलडोजर नहीं रेप करने वालो को तुरन्त गोली मारी जाए, क्योकि जिसकी इज्जत जाती हैं वही इसका दर्द झेलती हैं। न्याय कहता हैं shoot on the spot। रवि सिसौदिया ने लिखा कि ऐसे लोगों को डबल सजा मिलनी चाहिए। ये लोग सुरक्षा सूचक खाकी को भी कलंकित करने से बाज नहीं आते। एक का कहना था कि अब केवल दिखाने वाली कार्रवाई न हो। सरकार बुलडोजर के जरिए केवल अपना प्रचार कर रही है। दोषियों को मौत की सजा मिले।