महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) प्रमुख राज ठाकरे ने गुरुवार को मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस से मुलाकात की। यह मुलाकात ऐसे समय में हुई है जब बेस्ट कर्मचारी सहकारी ऋण समिति का चुनाव मिलकर लड़ने वाली उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली शिवसेना (UBT) और राज ठाकरे की मनसे को बुधवार को अपमानजनक हार का सामना करना पड़ा है। राज्य में आगामी स्थानीय निकाय चुनाव के लिए शिवसेना (यूबीटी) और मनसे के बीच संभावित गठबंधन की चर्चाएं हो रही हैं।
दोनों पार्टियों ने पहली बार मिलकर कोई चुनाव लड़ा था, हालांकि उनका संयुक्त पैनल चुनाव में एक भी पद नहीं जीत पाया। फड़नवीस ने दोनों पार्टियों पर ‘ठाकरे ब्रांड’ के नाम पर क्रेडिट सोसायटी चुनाव का राजनीतिकरण करने का आरोप लगाया था। राज ठाकरे ने फड़नवीस से दक्षिण मुंबई में स्थित उनके आधिकारिक बंगले ‘वर्षा’ में मुलाकात की थी, जिससे राज्य के राजनीतिक हलकों में अटकलें तेज हो गई थीं।
ट्रैफिक से पता चलता है शहर का भविष्य- राज ठाकरे
राज ठाकरे ने सीएम फडणवीस से मुलाकात के बाद प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि सिर्फ अडानी को जमीन देने से धारावी नहीं बदलेगी। उन्होंने कहा कि सरकार को अर्बन नक्सल पर ध्यान देने की बजाय अर्बन प्लानिंग पर ध्यान देना चाहिए। इस दौरान उन्होंने मुंबई की सड़कों, ट्रैफिक और अतिक्रमण का मुद्दा उठाया। एमएनएस चीफने कहा कि अर्बन प्लानिंग का मुद्दा मेरे लिए काफी अहम है और पिछले कुछ दिनों से इस बारे में लगातार मुख्यमंत्री से बात कर रहा हूं। उन्होंने कहा कि किसी भी शहर के ट्रैफिक का हाल देखकर उस शहर के भविष्य का अनुमान लगाया जा सकता है।
फड़नवीस और राज ठाकरे की मुलाकात पर क्या बोले अजित पवार?
वहीं, महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री अजित पवार ने राज ठाकरे और सीएम देवेंद्र फड़नवीस के बीच हुई मुलाकात पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि राज्य में संवाद बनाए रखना एक परंपरा रही है। वर्धा में पत्रकारों से बातचीत में पवार ने कहा, “कई नेता एक-दूसरे से और मुख्यमंत्री से मिलते हैं, चाहे वे नेता सत्ता में हों या नहीं। एक-दूसरे के साथ संवाद बनाए रखना राज्य की परंपरा है। इस मुलाकात को राजनीतिक रंग देने की कोई जरूरत नहीं है।” पढ़ें- गोवा कैबिनेट में इस्तीफे और फेरबदल की संभावना