राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव की बेटी रोहिणी आचार्य ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर ताजा बयान जारी किया है। रोहिणी आचार्य ने इस बयान में नीतीश सरकार के द्वारा लड़कियों को 10000 रुपये देने या साइकिल बांटने पर तो बात की ही है, उन्होंने पितृसत्तात्मक मानसिकता के साथ ही मायके में लड़कियों के रहने के मामले को भी उठाया है।

रोहिणी आचार्य ने बिहार विधानसभा चुनाव में राजद के बेहद खराब प्रदर्शन के बाद अपने भाई तेजस्वी यादव, उनके राजनीतिक सलाहकार संजय यादव पर हमला बोला था।

आचार्य ने कहा था कि वह अपने परिवार से नाता तोड़ रही हैं।

कभी लालू के करीबी रहे नेता ने रोहिणी आचार्य के आरोपों पर दिया बड़ा बयान

रोहिणी आचार्य ने कहा, ‘लड़कियों को 10,000 रुपये देना या साइकिलें बांटना, भले ही नेक इरादे से किया गया हो लेकिन ये भारत में महिलाओं के सशक्तिकरण में बाधा डालने वाले व्यवस्थागत मुद्दों को हल करने के मद्देनजर अपर्याप्त है।’ उन्होंने कहा कि सरकार और समाज का यह प्रथम दायित्व होना चाहिए कि वह बेटियों के समान अधिकारों की रक्षा के लिए ठोस कदम उठाए।

रोहिणी आचार्य ने कहा, ‘हर बेटी को इस भरोसे के साथ बड़े होने का अधिकार है कि उसका मायका एक ऐसी सुरक्षित जगह है, जहां वह बिना किसी डर, अपराधबोध, शर्म या किसी को कोई स्पष्टीकरण दिए बिना लौट सकती है। इस उपाय को लागू करना केवल एक प्रशासनिक दायित्व नहीं है, बल्कि अनगिनत महिलाओं को भविष्य में होने वाले शोषण और उत्पीड़न से बचाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम होगा।’

‘राजनीति छोड़ रही हूं…’, करारी हार के बाद लालू की बेटी रोहिणी आचार्य ने किया ऐलान

रोहिणी आचार्य ने लालू प्रसाद यादव को अपनी किडनी दी थी। उन्होंने संजय यादव का नाम लिए बिना कहा था कि एक बोतल खून देने के नाम पर जिनका खून सूख जाता है, वे किडनी देने पर उपदेश देते हैं।

रोहिणी आचार्य ने बिहार चुनाव के नतीजों के बाद कहा था कि उन पर चप्पल उठाई गई, उन्हें बदनाम किया गया और उन्हें गालियां दिलवाई गई। इसके बाद रोहिणी आचार्य अपने माता-पिता के पटना स्थित घर से निकलकर अपनी ससुराल चली गई थीं।

इस वजह से लालू परिवार में लड़ाई छिड़ गई थी। लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव को पहले ही परिवार से बाहर का रास्ता दिखाया जा चुका है।

कौन हैं लालू यादव को ‘किडनी देने वाली बेटी’ रोहिणी आचार्य?