अगस्तावेस्टलैंड हेलीकॉप्टर करार के मुद्दे पर कांग्रेस को आड़े हाथ लेते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार (8 मई) को कहा कि देश उन लोगों के नाम जानना चाहता है जिन्होंने हेलीकॉप्टर करार में कमीशन लिया। उन्होंने कहा कि रिश्वत लेने वालों को सजा दी जानी चाहिए। रविवार (8 मई) रात यहां सेंट्रल स्टेडियम में एक विशाल रैली को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा, ‘‘देश जानना चाहता है कि हेलीकॉप्टर करार में किसने कमीशन लिया और उन्हें सजा दी जानी चाहिए।’’

मोदी ने कहा, ‘‘मैडम सोनियाजी, ‘आप की ये हिम्मत’। आप और कांग्रेस के नेता बयान दे रहे हैं कि आपके खिलाफ गलत आरोप लगाए जा रहे हैं। क्या मोदी या मोदी सरकार ने पिछले दो सालों में एक बार भी हेलीकॉप्टर करार में कांग्रेस का नाम लिया था?’’ उन्होंने कहा, ‘‘हमने एक बार भी किसी के नाम का इस्तेमाल नहीं किया। जांच एजेंसियां अपना काम कर रही हैं। हिंदुस्तान में किसी ने नाम नहीं लिया। नाम इटली से आए हैं।’’

मोदी ने रैली में आए लोगों से पूछा, ‘‘क्या इटली में आपका कोई परिचित है? इटली में आपके रिश्तेदार रहते हैं? क्या आप इटली गई हैं? क्या इटली में आपको कोई जानता है?’’ उन्होंने कहा, ‘‘हर कोई जानता है कि इटली में किसके रिश्तेदार हैं।’’ उन्होंने यह भी कहा कि इटली की हाई कोर्ट ने नाम जारी किए हैं। मोदी ने कहा, ‘‘रिश्वत देने वाले जेल में हैं, रिश्वत लेने वालों को कब सजा दी जाएगी, देश अब ये जानना चाहता है।’’

जंतर-मंतर पर कांग्रेस के प्रदर्शन का मजाक उड़ाते हुए मोदी ने कहा कि उनका ‘‘लोकतंत्र बचाओ’’ मार्च तब शुरू हुआ जब हेलीकॉप्टर करार के मुद्दे पर तपिश बढ़ गई। केरल के कसरगोड़, कुट्टनाड और तिरुवनंतपुरम में तीन और तमिलनाडु के कन्याकुमारी में एक चुनावी सभा को संबोधित करने वाले मोदी ने केंद्र की पिछली यूपीए सरकार और केरल के यूडीएफ और एलडीएफ को आड़े हाथ लिया।

इससे पहले, मोदी ने केरल की जनता से केवल सरकार बदलने के बारे में नहीं, बल्कि उनके भविष्य के बारे में सोचने को कहा। उन्होंने राज्य में सत्तारूढ़ यूडीएफ और एलडीएफ के खिलाफ हमला जारी रखते हुए कहा कि दोनों गठबंधन इतने सालों में जनता को पेयजल तक नहीं मुहैया करा पाए।

मोदी ने कांग्रेस और माकपा पर एक दूसरे के भ्रष्टाचार को ढकने का भी आरोप लगाया और कहा कि जब वे हार जाएंगे तभी उन्हें पता चल जाएगा कि सरकारों को जनता के लिए काम करना पड़ता है। उन्होंने कहा, ‘‘केरल चारों ओर से पानी से घिरा है लेकिन यहां अब भी पेयजल नहीं है। भारत अगले साल आजादी के 70 साल पूरे करेगा। इतने दिनों में एक के बाद एक कांग्रेस और कम्युनिस्टों ने देश में सरकारें चलाईं लेकिन उन्हें पेयजल मुहैया कराने की चिंता नहीं है।’’

मोदी ने जनता से पूछा कि क्या पीने के पानी जैसी बुनियादी चीजों को मुहैया नहीं करा सके लोगों को चुना जाना चाहिए या नहीं। उन्होंने कहा, ‘‘जब भ्रष्टाचार में संलिप्त होने की बात आती है तो कांग्रेस और कम्युनिस्ट दोनों मिल जाते हैं।’’

मोदी ने कहा, ‘‘इन लोगों ने पांच पांच साल पर सत्ता का स्वाद चखने का फैसला किया है। इस तरह से उन्होंने एक दूसरे के पापों को नहीं देखने और उनकी फाइलों को नहीं खोलने का फैसला किया।’’ उन्होंने मौजूद भीड़ से कहा, ‘‘आपको सोचना होगा कि आपको केवल सरकार बदलनी है या आपका भविष्य भी बदलना है।’’

केरल में 16 मई को मतदान होना है। कासरगोड में एक रैली में प्रधानमंत्री ने केरल के दोनों मुख्य राजनीतिक दलों पर निशाना साधते हुए कहा कि उन्होंने अपनी ‘समझौते और अनुबंध’ की राजनीति से राज्य के शिक्षित मतदाताओं का ‘अपमान’ किया है।

मोदी ने कासरगोड की सभा में कहा, ‘‘केरल में राजनीति का एक नया मॉडल आया है। यह एक-दूसरे को बचाने के लिए तालमेल, समझौते, भ्रष्टाचार और अनुबंध की राजनीति है।’’उन्होंने कहा, ‘‘यूडीएफ और एलडीएफ के बीच करार का शासन है। पांच साल तक तुम शासन करो और अगले पांच साल हम शासन करेंगे।’’ इसी तरह से ये दोनों मोर्चे राज्य की सत्ता में लौटते रहे हैं।