गोवा चुनाव में कांग्रेस खुद को जीता हुआ मान रही है। यही वजह है कि मतगणना से पहले ही कर्नाटक कांग्रेस के अध्यक्ष डीके शिवकुमार ने राज्यपाल से मिलने का समय मांगा है। उन्होंने कहा कि गोवा में कांग्रेस को बहुमत मिल रहा है। सब कुछ ठीक तरीके से चले इसके लिए वो गवर्नर से मिलकर सारी बातें स्पष्ट कर लेना चाहते हैं। उनका कहना है कि गोवा में कांग्रेस अपने दम पर सरकार बनाने जा रही है।
गोवा में आप औरतृणमूल की मौजूदगी के बीच कांग्रेस और भाजपा में सीधी लड़ाई देखी जा रही है। भाजपा ने राज्य की सभी 40 सीटों पर चुनाव लड़ा है। कांग्रेस ने गोवा फारवर्ड पार्टी के साथ गठबंधन के साथ चुनाव लड़ा है। ममता की तृणमूल ने महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी के साथ गठबंधन किया है।
एग्जिट पोल ने भाजपा और कांग्रेस के नेतृत्व वाले गठबंधन के बीच आमने-सामने की लड़ाई की बात कही गई है। 2017 के विधानसभा चुनावों में कांग्रेस 17 सीटें जीतकर सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी थी। लेकिन सरकार भाजपा ने बना ली थी। भाजपा की हार्स ट्रेडिंग को देख इस बार कांग्रेस ने अपने विधायकों को मडगांव के होटल में रहने के लिए कहा है। बाकी पार्टियां भी इस मामले में एहतियात बरत रही हैं।
कयास हैं कि गोवा में कांग्रेस के नेता तृणमूल और आम आदमी पार्टी के राज्य नेताओं के संपर्क में हैं। ताकि राज्य में भाजपा को सत्ता में लौटने से रोका जा सके। कांग्रेस के वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम ने बुधवार को गोवा फारवर्ड पार्टी के साथ बैठक कर सारी स्थितियों का जायजा लिया। उनका कहना है कि बीजेपी को रोकने के लिए चुनाव बाद के गठजोड़ पर विचार हो रहा है।
उधर, गोवा के मुख्यमंत्री प्रमोद सावंत ने राज्य में भाजपा की सरकार बनाने का भरोसा जताया है। उनका कहना है कि लोगों ने उनकी सरकार के प्रति विश्वास जताया है। उन्हें पूरा यकीन है कि बीजेपी अपने दम पर सरकार बनाने जा रही है। उनका कहना है कि पीएम मोदी का जादू लोगों के सिर चढ़कर बोल रहा है। बीजेपी की लोकप्रियता का कहीं कोई मुकाबला नहीं।