ग्लोबल हंगर इंडेक्स (Global Hunger Index) में 102वें पायदान पर पहुंचने को लेकर सियासी गलियारों में हंगामा शुरू हो गया है। कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने मोदी सरकार को निशाने पर लिया और कहा कि ‘सबका विकास’ का दावा खोखला है। इस सूची में कुल 117 देश हैं। वहीं कांग्रेस नेता कपिल सिब्बल ने कहा कि प्रधानमंत्री को राजनीति की बजाय देश के बच्चों पर ज्यादा ध्यान देना चाहिए। सिब्बल ने एक ट्वीट में कहा, ‘मोदी जी बच्चों पर ध्यान दीजिए, वे ही हमारा भविष्य हैं। भारत 2010 में 95वें पायदान पर था, अब खिसककर 102वें पर चला गया है।’

नेपाल, पाक, बांग्लादेश से भी पिछड़े हमः सिब्बल ने यह भी कहा, ‘छह से 23 महीने की उम्र तक के 93 फीसदी बच्चे न्यूनतम जरूरी भोजन भी नहीं कर पाते हैं।’ ग्लोबल हंगर इंडेक्स में शामिल 117 देशों में भारत का स्थान नेपाल, बांग्लादेश और पाकिस्तान जैसे कमजोर पड़ोसियों से भी पीछे है। रिपोर्ट के मुताबिक भारत में हर पांच में से एक बच्चा कुपोषित है, यह दुनिया में सबसे बुरी स्थिति है। 2008 से 2012 के बीच देश में कुपोषण 16.5 फीसदी था जो बढ़कर 2014 से 2018 में बढ़कर 20.8 फीसदी तक पहुंच गया। छह से 23 महीने की उम्र के महज 9.6 फीसदी बच्चे न्यूनतम जरूरी भोजन पाते हैं।

पिछले साल किया था यह वादाः मोदी सरकार ने पिछले साल ही यह वादा किया था कि 2030 तक देश कुपोषण को खत्म करने के लक्ष्य को पूरी तरह हासिल कर लेगा। यह रिपोर्ट आयरलैंड की विज्ञापन एजेंसी कंसर्न वर्ल्डवाइड और जर्मनी की संस्था वेल्ट हंगर हिल्फे की संयुक्त रिपोर्ट में कहा गया कि भारत 30.1 के जीएचआई स्कोर के साथ बेहद बुरी स्थिति का सामना कर रहा है।

ऐसा है पड़ोसियों का हालः भारत के कई छोटे पड़ोसी देशों की स्थिति बेहतर है। इस सूची में नेपाल 73वे, श्रीलंका 66वे, बांग्लादेश 88वे, म्यांमार 69वे और पाकिस्तान 94वे नंबर पर है। चीन इस सूची में काफी अच्छी स्थिति में 25वें पायदान पर है।