उत्तर प्रदेश के शामली जिले में भैंस चोरी का एक अनोखा मामला सामने आया है। जहां शामली पुलिस ने एक चोरी हुई भैंस के डीएनए टेस्ट का आदेश दिया है ताकि उसके सही मालिक का पता लगाया जा सके। यह भैंस का बच्चा दो साल पहले चोरी हो गया था और तीन महीने पहले पता चला कि वह सहारनपुर के एक गांव में है।
अधिकारियों से लेकर सीएम को लिखा पत्र: दरअसल, दो साल पहले चंद्रपाल कश्यप ने भैंस के बछड़े के चोरी होने की शिकायत दर्ज कराई थी। कश्यप का दावा है कि तीन महीने पहले पता चला कि भैंस का बच्चा सहारनपुर के एक गांव में है। लिहाजा वह उस गांव में पहुंचा, लेकिन घरवालों ने उसे देने से इंकार दिया। इसके बाद पीड़ित ने मामला दर्ज कराया। चंद्रपाल ने इस मामले को लेकर उच्चाधिकारियों के साथ सीएम तक को पत्र लिख डाला।
एसपी ने दिया डीएनए टेस्ट का आदेश: भैंस के बच्चे के चोरी के मामले को बढ़ता देखकर सच्चाई का पता लगाने के लिए एसपी सुकीर्ति माधव ने भैंस और उसके बच्चे का डीएनए टेस्ट कराने के आदेश दिए। एसपी के आदेश पर गुरुवार को पशु चिकित्सकों की टीम ने डीएनए टेस्ट के लिए शामली और सहारनपुर पहुंचकर भैंस और उसके बच्चे का ब्लड सैंपल लिया।
इस बारे में बात करते हुए शामली एसपी सुकृति माधव ने कहा, “असली मालिक का पता लगाना वास्तव में एक चुनौती थी। लेकिन चूंकि कश्यप ने दावा किया कि उसके पास मां थी, इसलिए हमने डीएनए टेस्ट कराने का फैसला किया।
कैसे की जानवर की पहचान: वहीं, दूसरी ओर मजदूर चंद्रपाल कश्यप ने बताया कि कैसे उसने अपने खोए हुए भैंस के बच्चे की पहचान की। कश्यप ने बताया, “मनुष्यों की तरह, जानवरों में भी अलग-अलग खासियत होती हैं। सबसे पहले, उसके बाएं पैर पर एक निशान होता है। इसकी पूंछ के अंत में एक सफेद पैच भी होता है। और तीसरी चीज उसकी याद्दाश्त होती है। जब मैं भैंस के बच्चे के नजदीक गया तो उसने मुझे पहचान लिया और मेरे पास आने की कोशिश की। उसे पहचाने के लिए मुझे और क्या चाहिए?”