राजधानी की गांधीनगर और सनलाइट कालोनी में सोमवार (18 अप्रैल) रात को सिलेंडर रिसने से लगी आग में छह लोगों की मौत हो गई और तीस लोग लोग घायल हो गए। घायलों में कुछ की हालत बेहद गंभीर बताई जा रही है। घायलों को उपचार के लिए विभिन्न अस्पतालों में भर्ती कराया गया है। दिल्ली पुलिस, दिल्ली दमकल और आपदा प्रबंधन टीम के सदस्य घटनास्थल पर देर रात तक राहत कार्य में जुटे रहे। मृतकों में कुछ की पहचान हो गई है। बाकी की पहचान की कोशिश की जा रही है। पूर्वी दिल्ली के पुलिस उपायुक्त ऋषिपाल ने बताया कि गांधीनगर में हादसा शाम साढ़े सात बजे के आसपास हुआ। गांधीनगर के कैलाशनगर में संजय कश्यप का चार मंजिला मकान है। उसकी पहली मंजिल पर कश्यप अपने परिवार के साथ रहते हैं।

सोमवार शाम करीब साढ़े सात बजे अचानक संजय के रसोईघर में गैस रिसने से सिलेंडर में आग लग गई और जोरदार विस्फोट हुआ। धमाका इतना जोरदार था कि संजय कश्यप का मकान भरभरा कर ढह गया और सामने वाले मकान में भी आग लग गई। संकरी गली होने की वजह से फायर ब्रिगेड की गाड़ियों को बचाव कार्य करने में भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ा। किसी तरह मलबे में दबे लोगों को बाहर निकाल कर लोकनायक जयप्रकाश नारायण अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां डाक्टरों ने तीन लोगों को मृत घोषित कर दिया और दस लोग जिंदगी और मौत से जूझ रहे हैं। मृतकों में संजय कश्यप के पिता सोनी लाल(60), भाभी पूनम (40) और रिश्तेदार राजेश गोयल(50) हैं। इसके अलावा कई वाहन भी आग की चपेट में आकर खाक हो गए।

आग लगने की दूसरी घटना सोमवार रात साढ़े आठ बजे की है। दक्षिण पूर्वी दिल्ली की सनलाइट कालोनी स्थित भगवान नगर चौक पर एक इमारत में रखे सिलेंडर में आग लग गई। बताया जा रहा है कि यहां कई दुकानें थीं और इन्हीं दुकानों में किसी एक में सिलेंडर फटने से आग लगी। यहां पर भी तीन लोगों की मौत हो गई और बीस लोग गंभीर रूप से घायल हो गए।

जिले के पुलिस उपायुक्त मनदीप सिंह रंधावा ने बताया कि सिलेंडर विस्फोट के कारणों की जांच की जा रही है, जबकि घायलों को एम्स के ट्रामा सेंटर में भर्ती कराया गया है। दिल्ली फायर ब्रिगेड के प्रवक्ता का कहना है कि आग बुझाने के लिए आठ गाड़ियों को मौके पर भेजा गया। आग में कई लोंगों की गाड़ियां और अन्य सामान खाक हो गए। इन दोनों जगहों पर रात भर बचाव और राहत के कार्य चलते रहे।