लोकसभा के आगामी चुनावों के मद्देनजर कांग्रेस आगामी 3 फरवरी को बिहार की राजधानी पटना के गांधी मैदान में एक रैली कर रही है। पार्टी अध्यक्ष राहुल गांधी इस रैली को संबोधित करेंगे। पार्टी ने राष्ट्रीय जनता दल सहित सूबे के अन्य सहयोगी दलों के नेताओं को भी अपनी इस रैली में आमंत्रित किया है। खास बात यह है कि सूबे में दशकों तक शासन कर चुकी कांग्रेस 28 साल बाद गांधी मैदान में कोई रैली करने जा रही है। इस रैली के बाद ही महागठबंधन में शामिल दलों के बीच लोकसभा की सीटों के बंटवारे को लेकर कोई औपचारिक निर्णय लिए जाने के संकेत हैं। कांग्रेस के बिहार प्रभारी शक्ति सिंह गोहिल ने इस रैली के आयोजन को लेकर बताया कि यह बात सही है कि पिछले 28 वर्षों में पार्टी ने गांधी मैदान में अपने दम पर कोई बड़ी रैली करने की हिम्मत नहीं दिखाई। लेकिन इस बार पार्टी ने पूरी तैयारी की है। उन्होंने दावा किया कि बिहार के कोने-कोने से पार्टी के कार्यकर्ता व समर्थक इस सियासी जलसे में जुटेंगे और समूचा गांधी मैदान खचाखच भरा नजर आएगा। उन्होंने कहा कि सही बात तो यह है कि केंद्र और बिहार की राजग सरकारों से आम लोग बेहद त्रस्त हैं और वे कांग्रेस की वापसी चाहते हैं।
उन्होंने कहा कि चाहे तो कोई इसे कांग्रेस का शक्ति प्रदर्शन भी कह सकता है लेकिन उनके लिए यह बिहार के लोगों को जनविरोधी सरकारों से छुटकारा दिलाने की दिशा में की जा रही कवायद का हिस्सा है। गोहिल ने बताया कि इस रैली को कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी संबोधित करेंगे। उनके अलावा महागठबंधन में शामिल दलों के नेताओं-तेजस्वी यादव, उपेंद्र कुशवाहा, जीतनराम मांझी आदि अन्य नेताओं को भी इस रैली में शामिल होने के लिए आमंत्रित किया गया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि यह महागठबंधन की नहीं, बल्कि कांग्रेस की रैली होगी।
कांग्रेस व अन्य दलों के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर पूछने पर कांग्रेस नेता ने कहा कि सभी संबंधित दलों के बीच बातचीत जारी है और जल्दी ही यह घोषणा हो जाएगी कि कौन सी पार्टी कहां से चुनाव लड़ेगी। पार्टी नेता तारिक अनवर ने भी कहा कि 3 फरवरी को हो रही कांग्रेस की रैली के बाद ही लोकसभा सीटों के बंटवारे की औपचारिक घोषणा होने की उम्मीद है।