छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पूर्व की रमन सिंह सरकार द्वारा चलाई जा रही मोबाइल फोन वितरण योजना को स्थगित रखने का फैसला किया है। रमन सरकार ने प्रदेश में संचार क्रांति योजना के तहत इस योजना की शुरुआत की थी। पूर्व मुख्यमंत्री ने इसे अपना ड्रीम प्रोजेक्ट करार दिया था। योजना को स्थगित करने के बाद बघेल ने अधिकारियों से कहा कि इस मामले में सभी से चर्चा करने के बाद उचित फैसला लिया जाएगा।
दरअसल, छत्तीसगढ़ के पूर्व के मुख्यमंत्री रमन सिंह ने ‘रमन मोबाइल’ के नाम से अपनी महत्वाकांक्षी योजना स्मार्ट फोन वितरण शुरू की थी। इस योजना के तहत करीब 50 लाख लोगों को स्मार्ट फोन बांटे जाने थे। हालांकि विधानसभा चुनाव के मद्देनजर आचार संहिता लग जाने के कारण ग्रामीण इलाकों में फोन नहीं बंट पाए थे लेकिन फिर भी जुलाई के महीने में शहरी इलाकों में काफी फोन बांटे गए थे। जानकारी के अनुसार मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने जिलों में सरकारी मोबाइल फोन वितरण को अगली सूचना तक स्थगित रखने का निर्देश दिया है और उन्होंने कहा है कि इस बारे में शासन स्तर पर बाद में उचित फैसला लिया जाएगा।
जाहिर है मौजूदा सरकार के इस फैसले से विरोध के सुर उठना स्वाभाविक है। भाजपा विधायक शिवरतन शर्मा ने कांग्रेस सरकार इस फैसले को अनुचित बताया है। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार ने इस योजना की शुरुआत की थी। 70 से 80 फीसदी लोगों को इस योजना के तहत मोबाइल का वितरण हो गया है। ऐसे में इस योजना को रोकना सही कदम नहीं है।
अधिकारियों के मुताबिक मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने बुधवार शाम को मंत्रालय में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये जिला कलेक्टरों की बैठक ली थी। जिसमें उन्होंने घोषणा पत्र के सभी पहलुओं पर विभागवार क्रियान्वयन की कारवाई तत्काल शुरू करने का निर्देश दिया। इस दौरान मंत्री टी. एस. सिंहदेव और ताम्रध्वज साहू, मुख्य सचिव अजय सिंह और अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद रहे।