बीजेपी ने बिहार में स्थानीय निवासियों के लिए 80 प्रतिशत आरक्षण की लालू यादव की मांग का समर्थन किया है। बिहार में विपक्ष के नेता सुशील कुमार ने मोदी ने पत्रकारों से कहा कि बीजेपी इसका समर्थन करती है लेकिन नीतीश कुमार और लालू यादव ‘बयानबाजी’ के अलावा इस दिशा में ठोस कार्य नहीं कर रहे हैं। राजद नेता लालू यादव ने मांग की थी कि प्रदेश की नौकरियों और व्यावसायिक महाविद्यालयों में राज्य के निवासियों को 80 प्रतिशत का आरक्षण दिया जाए। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इसका सैद्धांतिक समर्थन किया था।
बिहार विधान परिषद में आज इस मामले को भाजपा सदस्य रजनीश कुमार के एक कार्यस्थगन प्रस्ताव पर पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष मंगल पाण्डेय ने भी उठाया। इस मामले में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के हस्तक्षेप करने की बात पर सुशील ने कहा कि देश के अन्य राज्यों में भी लागू इस मामले में केंद्र सकार का कोई सरोकार नहीं, इसलिए उसके द्वारा हस्तक्षेप की आवश्यकता नहीं। सुशील मोदी ने आरोप लगाया कि यूजीसी के दिर्शानिर्देशों को बिहार में लागू नहीं किए जाने के कारण यहां के 2009 के पूर्व 34 हजार पीएचडी डिग्री पाने वालों को सहायक व्याख्याता की बहाली में अवसर प्राप्त नहीं हो पाएगा।
उन्होंने कहा कि राज्य के शिक्षा मंत्री अशोक चौधरी ने गत मार्च महीने में ही यूजीसी के दिर्शानिर्देशों को लागू किए जाने का आश्वासन दिया था, पर सरकार की उदासीनता के कारण आज बिहार लोक सेवा आयोग द्वारा इस पद के लिए साक्षात्कार लिया जा रहा है जिसमें 80 प्रतिशत उम्मीदवार अन्य प्रदेशों के हैं। सुशील ने बीपीएससी द्वारा लिए जा रहे साक्षात्कार को रोके जाने तथा बिहार के अभ्यर्थियों को इसका लाभ पहुंचाने के लिए यूजीसी के दिर्शानिर्देशों को लागू किए जाने की भी मांग की।
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