सपा नेता अखिलेश यादव ने शुक्रवार को बीएसपी मुखिया मायावती से मुलाकात की। इस दौरान दोनों नेताओं ने यूपी में बीजेपी के खिलाफ महागठबंधन पर चर्चा की। सूत्रों का दावा है कि दोनों ही नेता कांग्रेस से नाराज हैं। ऐसे में उन्होंने कांग्रेस के साथ गठबंधन करने से इनकार कर दिया है। सूत्रों के मुताबिक, इस गठबंधन में छोटी पार्टियों को जगह दी जाएगी। वहीं, सीटों के बंटवारे पर अंतिम निर्णय 15 जनवरी के बाद लिया जाएगा। माना जा रहा है कि अगर राष्ट्रीय लोक दल (आरएलडी) के अजित सिंह महागठबंधन में शामिल होते हैं तो उन्हें 3 सीटें मिलेंगी।
अमेठी-रायबरेली में अपने प्रत्याशी नहीं उतारेंगे SP-BSP : सूत्रों का कहना है कि दोनों नेताओं ने कांग्रेस को गठबंधन से बाहर रखने का फैसला जरूर किया है, लेकिन गांधी के गढ़ अमेठी और रायबरेली में अपने प्रत्याशी नहीं उतारने पर भी सहमति जाहिर की है। बता दें कि अखिलेश यादव ने कांग्रेस से गठबंधन नहीं करने के संकेत पिछले सप्ताह ही दे दिए थे, जब उनके एकमात्र विधायक को मध्य प्रदेश के सीएम कमलनाथ के मंत्रिमंडल में शामिल नहीं किया गया था। अखिलेश ने कहा था, ‘‘कांग्रेस अपने वादे से मुकर गई है, जबकि पार्टी को बहुमत दिलाने में उनका महत्वपूर्ण योगदान रहा।’’
कांग्रेस से नाराज हैं माया और अखिलेश : अखिलेश ने पिछले हफ्ते पत्रकारों से कहा था, ‘‘हमारे विधायक को मंत्री नहीं बनाने के लिए कांग्रेस का धन्यवाद। कांग्रेस ने यह कदम उठाकर यूपी के लिए हमारा रास्ता साफ कर दिया है।’’ मध्य प्रदेश में चुनाव से पहले मायावती ने कांग्रेस से गठबंधन करने से इनकार कर दिया था, लेकिन बीजेपी को सत्ता से बाहर रखने के लिए वह समर्थन देने को तैयार हो गई थीं। वहीं, मायावती ने इसी हफ्ते कहा था कि अगर कांग्रेस भारत बंद के दौरान राजस्थान और मध्य प्रदेश में निर्दोष अनुसूचित जाति के लोगों पर दर्ज मुकदमे वापस नहीं लेती है तो बीएसपी समर्थन देने पर पुनर्विचार करेगी। मायावती ने कहा था कि कांग्रेस को बीजेपी की तरह वादे से मुकरना नहीं चाहिए।
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कांग्रेस ने भी किया गठबंधन का आह्वान : बीएसपी और एसपी से नकारे जाने के संकेत मिलने के बाद कांग्रेस ने पिछले हफ्ते कहा था कि यूपी में लोगों को बीजेपी से मुक्ति दिलाने वाले किसी भी दल से वे गठबंधन के लिए तैयार हैं। बता दें कि लोकसभा चुनाव 2014 के दौरान बीजेपी ने यूपी की 80 में से 73 सीटों पर कब्जा जमाया था। हालांकि, पिछले साल गोरखपुर और फूलपुर के उपचुनाव में पार्टी को अखिलेश और माया से हार का सामना करना पड़ा था। सूत्रों का कहना है कि मायावती और अखिलेश की दूसरी बैठक अगले सप्ताह तक हो सकती है, जिसमें महागठबंधन को लेकर स्थिति ज्यादा स्पष्ट होने की उम्मीद है।