-
बसपा सुप्रीमो ने कभी अपने बहुबल से राजा भैया को जेल का रास्ता दिखा दिया था, वहीं मुख्तार अंसारी को अपनी छत्रछाया में रखा था। समय और परिस्थिति के अनुसार मायावती की पार्टी में मुख्तार का आना-जाना बना रहा, लेकिन अब यूपी 2022 के विधानसभा चुनाव के मद्देनजर मायावती ने बसपा की पाक छवि पेश करने की ठान ली है। यही कारण है कि एक बार फिर से मुख्तार अंसारी का पत्ता साफ बसपा से साफ हो गया है। मायावती का बाहुबलियों को लेकर क्या रवैया रहा है, चलिए जानें।
-
मऊ विधायक बाहुबली मुख्तार अंसारी का बसपा में आने-जाने का सिलसिला नया नहीं है। साल1993 में जेल से जमानत पर छूटे तो बसपा के टिकट पर घोसी संसदीय सीट से चुनाव लड़े थे, लेकिन हार गए। 1996 में वह बसपा के टिकट पर मऊ विधानसभा से चुनाव जीत गए। वहीं साल 2002 में वह निर्दलीय चुनाव लड़े। वहीं साल 2009 में पार्टी ने मुख्तार को बसपा ने वाराणसी से लोकसभा का टिकट दिया था।
-
साल 2007 में मुख्यमंत्री बनी मायावती ने मुख्तार अंसारी को गरीबों के मसीहा कहा था और उपर थोपे गए मुकदमों को षड्यंत्र का हिस्सा बताते हुए फर्जी करार दिया था, लेकिन अचानक से साल 2010 में मायावती ने मुख्तार को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया।
-
26 जनवरी 2017 को मायावती ने फिर से करवट ली और अंसारी बंधुओं की पार्टी कौएद का बसपा में विलय कर लिया। तब मायावती ने मुख्तार की आपराधिक पृष्ठभूमि का बचाव करते हुए कहा था कि उनके परिवार के कई सदस्य देश की सेवा करते आ रहे हैं। सीमा पर बलिदान भी दिया है। मुख्तार के खिलाफ साजिश की गई है। षड्यंत्र के तहत उनके परिवार पर फर्जी मुकदमे दर्ज किए गए थे।
-
मायावती ने मुख्तार के मुकदमें तो फर्जी बता दिए थे, लेकिर कुंडा के विधायक राजा भैया को जेल भेजने के लिए उन पर पोटा लगा दिया था। राजा भैया, मायावती के निशाने पर थे।
-
राजा भैया से मायावती की खुन्नस की वजह साफ थी, क्योंकि वह कल्याण सिंह का तब साथ दिए थे जब मायावती ने बीजेपी की सरकार यूपी में गिराने की पहल की थी।
-
मायावती ने यूपी के बाहुबाली मुख्तार पर मेहरबान रहीं और वहीं राजा भैया की संपत्ति कुर्क कराकर सरकारी खजाने में डलवा दी। यही नहीं भदरी रियासत के 600 एकड़ तालाब पर भी सरकारी कब्जा कर लिया था।
-
मायावती अब 2022 यूपी विधानसभा चुनाव के मद्देनजर बसपा की छवि बदलने की कोशिश में जुट गई हैं और यही कारण है कि बसपा प्रमुख मायावती ने अबकी विधानसभा चुनाव में किसी बाहुबली व माफिया आदि को टिकट नहीं देने का फैसला किया है।
-
मायावती ने मऊ से पार्टी विधायक बाहुबली मुख्तार अंसारी का टिकट काटने के साथ ही वहां से बसपा के प्रदेश अध्यक्ष भीम राजभर को चुनाव लड़ाने की घोषणा भी कर दी।
-
उधर, राजा भैया के मोदी संग नजदिकियां देखी जा रही हैं। ऐसे अब यूपी के विधानसभा चुनाव में देखना है कि राजा भैया का भाजपा कितना साथा देती है।
-
Photos: Social Media
