पश्चिम बंगाल में डॉक्टरों की हड़ताल का असर देश के अलग-अलग राज्यों में दिख रहा है। अपनी सुरक्षा की मांग को लेकर बीते मंगलवार से हड़ताल पर गए पश्चिम बंगाल के डॉक्टरों ने ममता सरकार की अपील के बावजूद हड़ताल वापस नहीं ली। इस बीच कोलकाता के आरजी कर मेडिकल कॉलेज के 80 डॉक्टरों ने सामूहिक इस्तीफा दे दिया है। डॉक्टरों ने कहा कि मौजूदा परिस्थितियों को देखते हुए हम अपनी सेवाएं नहीं दे सकते इसलिए इस्तीफा दे रहे हैं।

दरअसल एनआरएस मेडिकल कॉलेज और अस्पताल में मरीज की मौत के बाद परिजनों ने दो जूनियर डॉक्टरों के साथ मारपीट की थी जिसके बाद से ही डॉक्टर हड़ताल पर हैं। वहीं फिल्मकार अपर्णा सेन ने डॉक्टरों की हड़ताल को अपना समर्थन देकर ममता सरकार के खिलाफ विरोध दर्ज किया है। उन्होंने कहा है कि मैं डॉक्टरों के खिलाफ हुई हिंसा के विरोध में ममता सरकार से कोई भी अवॉर्ड नहीं लूंगी। एक समय पर अपर्णा को ममता के करीबी लोगों में से एक माना जाता था। उन्होंने ममता से अपील करते हुए कहा ‘आप हमारी अभिभावक की तरह हैं। आप उन सभी डॉक्टरों से बड़ी हैं। आप उनकी मां जैसी हैं इसलिए कृप्या उनका ध्यान रखें।’

इन राज्यों पर भी दिखा असर: हड़ताल का असर देश की राजधानी दिल्ली, मुंबई, हैदराबाद और अन्य राज्यों पर भी पड़ रहा है। इससे पहले कोलकाता के मेयर फिरहाद हकीम की बेटी शब्बा हकीम ने फेसबुक पोस्ट के जरिए अपना विरोध दर्ज किया था। उन्होंने अपनी पोस्ट में डॉक्टरों की सुरक्षा की मांग की थी।

ममता का आरोप- गालियां देने रहे थे हड़ताली जूनियर डॉक्टर: सीएम ममता ने एसएसकेएम अस्पताल के हड़ताल कर रहे जूनियर डॉक्टरों पर उनके दौरे के समय अपशब्द बोलने का आरोप लगाया है। उन्होंने गुरुवार रात को एक बांग्ला समाचार चैनल से बातचीत में कहा, ‘मैं आपातकालीन विभाग में गयी थी जहां वे मुझसे बात कर सकते थे, लेकिन जब मैं वहां थी तो उन्होंने जिस भाषा का इस्तेमाल किया, वह मुझे अपशब्द बोलने जैसा था।’