भारत व पाकिस्तान के बीच दिसंबर में प्रस्तावित शृंखला में बहुत कम समय बाकी रह गया है पर इसके बावजूद इसके भविष्य को लेकर असमंजस बरकरार है। बीसीसीआइ सचिव अनुराग ठाकुर ने गुरुवार को स्वीकार किया कि प्रस्तावित द्विपक्षीय शृंखला को लेकर समय निकलता जा रहा है लेकिन उन्होंने कहा कि बोर्ड को सरकार की मंजूरी का इंतजार है। भारत को आस्ट्रेलिया दौरे के लिए पांच जनवरी को रवाना होना है और ऐसे में इस बहुप्रतीक्षित शृंखला के आयोजन के लिए काफी कम समय बचा है। उधर, पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) ने कहा है कि यदि भारत सरकार अगले दो दिन में इसे मंजूरी नहीं देती तो इसे रद्द कर दिया जाएगा।
ठाकुर ने नई दिल्ली में कहा कि मीडिया को उम्मीद थी कि सुषमा स्वराज का दौरा क्रिकेट शृंखला का भाग्य तय करेगा। लेकिन जब दोनों देशों के रिश्तों की बात है तो काफी कुछ दांव पर लगा होता है और फैसला लेने से पहले कई चीजों को ध्यान में रखना होता है। उन्होंने कहा कि भारत सरकार जब भी इस पर फैसला करेगी, हम आपको जानकारी दे देंगे। उन्होंने कहा कि यह उनका (पीसीबी) का फैसला है कि शृंखला की मेजबानी के लिए कौन सा समय उनके अनुकूल है। हम आस्ट्रेलिया के लिए पांच जनवरी को रवाना होंगे और दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ लंबी शृंखला के बाद खिलाड़ियों को चार-पांच दिन का आराम देना बेहद महत्त्वपूर्ण है। इसलिए आदर्श स्थिति यह है कि अगर आपको पांच को रवाना होगा है तो आप 30 दिसंबर तक खाली हो जाओ।
भारत और पाकिस्तान के बीच हस्ताक्षरित सहमति पत्र के अनुसार पीसीबी को दिसंबर में किसी तटस्थ स्थान पर द्विपक्षीय शृंखला के लिए भारत की मेजबानी करनी है। ठाकुर ने जोर देकर कहा कि बीसीसीआइ ने शुरू से ही कह दिया था कि सरकार की स्वीकृति जरूरी है। उन्होंने कहा कि पीसीबी अध्यक्ष और बीसीसीआइ अध्यक्ष दुबई में मिले और फैसला किया कि हम श्रीलंका में शृंखला खेलेंगे और दोनों देश इसके लिए अपनी सरकारों से मंजूरी लेंगे।
ठाकुर ने कहा कि बीसीसीआइ ने भारत सरकार को पत्र लिखा है लेकिन भारत-पाक रिश्ते हमेशा से ऐसे रहे हैं और ऐसा नहीं है कि पहली बार इस तरह शृंखला लटकी हो। पिछले 30 साल के अर्से में कई बार भारत-पाक शृंखला हुई और रुकी है। काफी कुछ दोनों देशों के बीच रिश्ते पर निर्भर करता है। प्रस्तावित शृंखला को लेकर कई बैठकों के बाद पीसीबी अध्यक्ष शहरयान खान ने बुधवार को कहा था कि शृंखला के आयोजन के लिए समय तेजी से खत्म हो रहा है। लेकिन ठाकुर ने कहा कि पीसीबी अध्यक्ष ने आधिकारिक तौर पर हमें कुछ नहीं बताया है। जब तक हमें कुछ लिखित में नहीं मिल जाता या बीसीसीआइ को नहीं बताया जाता तब तक मैं इस पर कोई प्रतिक्रिया देने की स्थिति में नहीं हूं।
ठाकुर ने कहा कि पीसीबी मेजबान है और कितने समय में वह इसका आयोजन कर पाएगा, यह उस पर निर्भर करता है। लेकिन बीसीसीआइ ने अपनी स्थिति साफ कर दी है कि हमें सरकार से स्वीकृति लेनी होगी और जब तक सरकार मंजूरी नहीं देती तब तक बीसीसीआइ कोई कदम नहीं उठाएगा। उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों की सुरक्षा शीर्ष प्राथमिकता है और सरकार का फैसला मानना होगा।
आइपीएल अध्यक्ष राजीव शुक्ला ने भी कहा कि इस बाबत गेंद सरकार के पाले में है। मैं सिर्फ इतना कह सकता हूं कि हमें अब भी सरकार के जवाब का इंतजार है। बीसीसीआइ सचिव ने विदेश मंत्रालय को पत्र लिखा है और अभी तक कोई जवाब नहीं मिला है। उन्होंने कहा कि वैसे भी शृंखला के लिए अब समय बहुत कम बचा है, पीसीबी ने भी यही चिंता जताई है।
उधर, पीसीबी अध्यक्ष शहरयार खान ने कहा कि पीसीबी एक-दो दिन इंतजार करेगी जिसके बाद शृंखला रद्द कर दी जाएगी। उन्होंने कहा कि शृंखला के आयोजन की संभावना अब बहुत कम है क्योंकि भारतीय विदेश मंत्री सुषमा स्वराज ने इस्लामाबाद में पाकिस्तानी अधिकारियों के साथ बैठक में इस पर बात नहीं की। उन्होंने कहा कि ईमानदारी से कहूं तो इस शृंखला की संभावना बहुत कम है क्योंकि हमें बताया गया है कि भारतीय विदेश मंत्री और प्रधानमंत्री नवाज शरीफ के बीच मुलाकात में इस पर बात नहीं की गई। अगर शृंखला नहीं होती तो हमें चार से पांच करोड़ डालर का नुकसान होगा क्योंकि हमने श्रीलंका में शृंखला की तैयारियां शुरू कर दी थी। हमें उम्मीद थी कि भारतीय विदेश मंत्री और पाकिस्तानी अधिकारियों के बीच बातचीत में क्रिकेट का मसला भी उठेगा लेकिन ऐसा नहीं हुआ। हम निराश हैं।
शहरयार ने कहा कि पीसीबी अपनी भावी नीतियों की समीक्षा करके संचालक बोर्ड के सदस्यों को इस पर जानकारी देगा। उन्होंने कहा कि भारत के खिलाफ शृंखला नहीं होना आर्थिक तौर पर हमारे लिए झटका है। उन्होंने कहा कि हमें उम्मीद थी कि भारतीय बोर्ड को सरकार से मंजूरी मिल जाएगी क्योंकि उन्होंने हमारे साथ एमओयू पर हस्ताक्षर किए हैं। हमें बाकी शृंखलाओं के भविष्य के बारे में भी सोचना है। उन्होंने कहा कि मार्च में भारत में होने वाले टी20 विश्व कप में पाकिस्तान की भागीदारी का फैसला उनकी सरकार से मंजूरी पर निर्भर होगा। उन्होंने कहा कि सरकार ने हमें श्रीलंका में भारत के खिलाफ छोटी शृंखला खेलने की अनुमति दी है लेकिन अभी तक यह तय नहीं लग रहा है।
बीसीसीआइ सचिव अनुराग ठाकुर (तस्वीर में) ने माना कि प्रस्तावित द्विपक्षीय शृंखला को लेकर समय निकलता जा रहा है लेकिन बोर्ड को अब भी सरकार की मंजूरी का इंतजार है। जब तक सरकार मंजूरी नहीं देती तब तक बीसीसीआइ कोई कदम नहीं उठाएगा। उधर, पीसीबी ने कहा है कि यदि भारत सरकार अगले दो दिन में सीरीज को मंजूरी नहीं देती तो इसे रद्द कर दिया जाएगा। पीसीबी प्रमुख शहरयार खान ने कहा कि ईमानदारी से कहूं तो सीरीज की संभावना नहीं लगती। यह निराशाजनक है।