डिजिटल पेमेंट प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करने वाले यूजर्स को इन दिनों ज्यादा सावधानी बरतने की जरुरत है। दरअसल बड़ी तादाद में पेटीएम ग्राहकों ने शिकायत की है कि उनके साथ केवाईसी के नाम पर फ्रॉड हुआ है। समस्या के गंभीर होने के कारण पेटीएम के फाउंडर विजय शेखर शर्मा ने खुद ट्विटर पर इसे लेकर यूजर को सावधान किया है। विजय शेखर शर्मा ने बीती दिनों ट्वीट कर लिखा कि ‘कृप्या आपके पेटीएम अकाउंट की केवाईसी करने या उन्हें ब्लॉक करने संबंधी मैसेज पर विश्वास ना करें। यह धोखेबाजों की कोशिश हो सकती है।’
शर्मा ने बताया कि हम कभी भी किसी एप को डाउनलोड करने या केवाईसी पूरी करने के लिए मैसेज नहीं भेजते हैं। हम केवाईसी सिर्फ अपने अधिकृत प्वाइंट पर या फिर अपने प्रतिनिधि द्वारा आपके घर भेजकर कराते हैं। एक अन्य ट्वीट में पेटीएम के फाउंडर ने लिखा कि ‘लकी ड्रॉ वाले मैसेज धोखेबाजों की कोशिश हो सकती है, इनके झांसे में ना आएं।’
धोखेबाज कैसे बनाते हैं लोगों को निशानाः दरअसल धोखेबाज यूजर्स को एक मैसेज भेजकर किसी मोबाइल एप को डाउनलोड करने या फिर केवाईसी पूरी करने को कहते हैं। जब यूजर धोखेबाजों की बतायी एप को डाउनलोड करते हैं, या फिर उनके दिए लिंक पर केवाईसी पूरी करते हैं, तो यूजर का PIN धोखेबाजों के पास पहुंच जाता है। जिसकी मदद से धोखेबाज लिंक खाते को खाली कर लोगों को लाखों रुपए का चूना लगा देते हैं।
Pls don’t trust any SMS send of blocking your Paytm account or suggestion to do a KYC.
These are fraudsters attempting on your account. Pls RT. pic.twitter.com/vHKBFmo3nc— Vijay Shekhar (@vijayshekhar) November 19, 2019
इकॉनोमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट के अनुसार, धोखेबाज यूजर से AnyDesk, QuickSupport और TeamViewer आदि एप को डाउनलोड करने के लिए कह सकते हैं। अभी तक इस तरीके से कितने लोगों को निशाना बनाया गया है, इसकी अभी तक जानकारी नहीं है, लेकिन पेटीएम का कहना है कि बीते तीन माह में उनके पास और आरबीआई के पास इससे संबंधित कई शिकायतें आयी हैं।
केन्द्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने हाल ही में राज्यसभा में बताया था कि आरबीआई के पास ऐसी 2000 शिकायतें आयी हैं, जिनमें से 723 समस्याएं सुलझा ली गई हैं। इससे पहले एचडीएफसी बैंक, एक्सिस बैंक, आरबीआई भी ऐसे मामलों में एडवाइजरी जारी कर चुके हैं।
कैसे बचेंः इस तरह के धोखे से बचने के लिए यूजर्स को सलाह दी गई है कि वह डिजिटल पेमेंट प्लेटफॉर्म का इस्तेमाल करते वक्त ज्यादा सतर्क रहें। इसके साथ ही कोई भी डिजिटल पेमेंट एप डाउनलोड करते वक्त यह भी चेक कर लें कि बैंक से संबंधित भी हैं या नहीं। इसके साथ ही UPI और BHIM एप डाउनलोड करते वक्त इस बात का ध्यान रखें कि ये एप कभी भी आधार कार्ड या मोबाइल आदि की जानकारी नहीं मांगती हैं। व्हाट्सएप पर केवाईसी या आधार डिटेल्स मांगने संबंधी संदेशों को लेकर चौकन्ने रहें।