Women Reservation Bill: लोकसभा में महिला आरक्षण बिल 2023 को लेकर चर्चा जारी है। कांग्रेस संसदीय दल की चीफ सोनिया गांधी ने जातीय जनगणना और ओबीसी वर्ग की महिलाओं को आरक्षण दिए जाने का मुद्दा उठाया। सोनिया गांधी ने कहा कि कांग्रेस महिला आरक्षण बिल का समर्थन करती है, लेकिन सरकार को बताना चाहिए कि यह कब लागू होगा। गांधी ने कहा कि हमारी मांग है कि इस बिल को तत्काल प्रभाव से लागू किया जाना चाहिए। सोनिया गांधी के भाषण के बाद झारखंड के गोड्डा से भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने सोनिया गांधी पर चुन-चुनकर वार किया।
भाजपा सांसद निशिकांत दुबे ने कहा कि अगर ओबीसी (OBC) को रिजर्वेशन देना था तो निकाय चुनाव और पंचायत चुनाव में क्यों नहीं दिया गया। यह देश संविधान से चलता है। संविधान के आर्टिकल 343D, T में कहीं भी यह बात नहीं है। दुबे ने कहा कि अच्छी बात है कि आपने पंचायत में महिलाओं के लिए आरक्षण की व्यवस्था की। आपने तब ओबीसी के लिए आरक्षण का प्रावधान क्यों नहीं किया?
बीजेपी सांसद ने संविधान के आर्टिकल 82 का उल्लेख किया। उन्होंने कहा कि इसमें साफ है कि जनगणना होगी और उसके बाद 2026 तक परिसीमन होगा। हम कैसे फौरन लागू कर दें। उन्होंने कहा कि क्या आप यह चहती हैं कि सुप्रीम कोर्ट खारिज कर दे और महिलाओं को आरक्षण न मिल पाए। निशिकांत ने श्रेय लेने की होड़ को लेकर भी कांग्रेस पर करारा प्रहार किया।
दुबे ने कहा कि जो जीता वही सिकंदर। यहां पश्चिम बंगाल के लोग बैठे हैं, जो गोल मारता है क्रेडिट उसी को जाता है और यहां प्रधानमंत्रीजी गोल मारने को तैयार बैठे हैं। निशिकांत ने विपक्षी गठबंधन पर कटाक्ष किया और उसे घमंडिया बताते हुए महिला आरक्षण बिल लोकसभा में पेश किए जाते समय 2011 में हुई घटना का जिक्र करते हुए भी सोनिया गांधी पर हमला बोला।
उन्होंने कहा कि समाजवादी पार्टी के सांसद यशवीर सिंह ने नारायणसामी के हाथ से लेकर बिल की कॉपी फाड़ दी थी, जब वे इसे पेश करने जा रहे थे। सोनिया गांधी उनका कॉलर पकड़ने जा रही थीं। हमने तब कहा था कि आप रानी नहीं हैं, आप ऐसा नहीं कर सकतीं। उन्होंने कहा कि मुलायम सिंह यादव ने कहा था कि बीजेपी के सांसदों ने हमारे सांसदों को बचाया था। निशिकांत ने कहा कि आज इन्हीं सारी पार्टियों ने मिलकर घमंडिया बनाया है।
भाजपा सांसद ने कहा कि समाजवादी पार्टी और राजद जैसी पार्टियां नहीं चाहती कि महिला आरक्षण लागू हो। निशिकांत ने दलगत भावना से ऊपर उठकर महिला आरक्षण बिल का समर्थन करने की भी अपील की। इससे पहले सोनिया गांधी के ठीक बाद जब निशिकांत दुबे बोलने के लिए खड़े हुए, विपक्षी सदस्यों ने हंगामा शुरू कर दिया. विपक्षी सांसदों को महिला आरक्षण बिल पर पुरुष वक्ता के बोलने को लेकर आपत्ति थी। इस बीच गृह मंत्री अमित शाह अपनी सीट पर खड़े हो गए। शाह ने कहा कि क्या महिलाओं के हित की चिंता पुरुष को नहीं करनी चाहिए? इसके बाद विपक्षी सदस्य चुप हुए। तब निशिकांत ने आगे बोलना शुरू किया।