महाराष्ट्र में दोनों बड़े गठबंधन चुनाव में अपनी-अपनी जीत का दावा कर रहे हैं। चुनाव परिणाम जब घोषित होंगे तब बाजी किसके हाथ लगेगी, इस पर पूरे देश की नजर रहेगी ही, साथ ही नजर इसपर भी रहेगी कि महाराष्ट्र के रण में कौनसी ‘शिवसेना’ ज्यादा ताकतवर होकर उभरती है। द इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के अनुसार, 20 नवंबर को होने वाले विधानसभा चुनाव में शिवसेना के दोनों धड़ों के बीच महाराष्ट्र की कम से कम 49 सीटों पर मुकाबला होने वाला है।
रिपोर्ट के अनुसार, शिवसेना के दोनों धड़ों के बीच में मराठवाड़ा और कोंकण दोनों ही इलाकों की आठ-आठ सीटों पर मुकाबला होगा। इसके अलावा MMR की 19 सीटों पर भी दोनों पार्टियों के प्रत्याशी आमने – सामने हैं। मुंबई मेट्रोपॉलिटन एरिया को शिवसेना की कोर बेल्ट माना जाता है। इन 19 सीटों में से 12 मुंबई रीजन में हैं। नॉर्थ महाराष्ट्र और वेस्टर्न महाराष्ट्र में दोनों पार्टियों के बीच चार-चार सीटों के बीच मुकाबला है।
शिवसेना के विभाजन के बाद महाराष्ट्र में पहली बार हो रहे विधानसभा चुनाव में शिवसेना के दोनों ही धड़े खुद को ‘असली शिवसेना’ साबित करने का प्रयास करेंगे। साल की शुरुआत में लोकसभा चुनाव में दोनों शिवसेनाओं के बीच 13 सीटों पर मुकाबला हुआ, इनमें से शिंदे सेना को छह और उद्धव सेना को सात लोकसभा सीटों पर जीत हासिल हुई।
महाराष्ट्र की इन सीटों पर होगी सबसे भयंकर लड़ाई
शिवसेना के बीच सबसे भयंकर मुकाबला MMR रीजन में देखने को मिलने की उम्मीद है। इन सीटों में ठाणे की कोपरी पंचपखड़ी सीट शामिल है, जहां से खुद मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे चुनाव मैदान में हैं। कोपरी पंचपखड़ी सीट पर एकनाथ शिंदे का मुकाबला अपने गुरु आनंद दिघे के भतीजे केदार दिघे है। इसके अलावा वर्ली विधानसभा सीट पर उद्घव ठाकरे के बेटे आदित्य ठाकरे चुनाव मैदान में हैं। यहां उनका मुकाबला शिवसेना के मिलिंद देवड़ा से है। माहिम सीट पर सभी की निगाहें हैं, यहां शिवसेना के सीनियर नेता सदा सर्वणकर के खिलाफ उद्धव गुट ने महेश सावन को चुनाव मैदान में उतारा है।
एकनाथ शिंदे के लिए मुंबई चैलेंज
एकनाथ शिंदे की शिवसेना के लिए मुंबई बड़ा चैलेंज है। यहां लोकसभा चुनाव में उनकी पार्टी को तीन में सिर्फ एक सीट पर जीत हासिल हुई थी। उद्धव ठाकरे की पार्टी ने लोकसभा चुनाव में मुंबई साउथ, साउथ सेंट्रल लोकसभा सीटों पर जीत हासिल की थी जबकि शिंदे गुट ने मुंबई नॉर्थ वेस्ट सीट सिर्फ 48 वोटों से जीती थीं। कोंकण क्षेत्र में यूबीटी को बड़ा नुकसान हुआ था। यहां पार्टी खाता खोलने में भी कामयाब नहीं हो पाई थी और पांचों सीटें हार गई थी। कोंकण की कुदाल विधानसभा सीट से शिवसेना टिकट पर नीलेश राणे चुनाव मैदान में हैं। उनका मुकाबला यूबीटी के वैभव नायक से है। दोनों कट्टर प्रतिद्वंदी हैं।
कोंकण की रत्नागिरी और राजापुर सीट पर क्रमश: उदय सामंत और उनके भाई किरन चुनाव मैदान में हैं। यहां उनके मुकाबला यूबीटी के बाल माने और राजन साल्वी से है। सावंतवाड़ी में दीपक केसरकर को यूबीटी के राजन तेली चुनौती दे रहे हैं। मराठवाड़ा में अब्दुल सत्तार, संजय सिरसाट औऱ संतोष बांगर का मुकाबला यूबीटी के प्रत्याशियों से हैं। विदर्भ में पारंडा सीट पर तानाजी सांवत का मुकाबला यूबीटी के राहुल पाटिल और दिघरास सीट पर संजय राठौड़ का मुकाबला यूूबीटी के पवन जायसवाल से है।