West Bengal News: पश्चिम बंगाल की सत्ताधारी पार्टी टीएमसी की एक ग्राम पंचायत प्रधान पर आरोप लगा है कि वे बांग्लादेशी नागरिक (Bangladeshi Migrant) हैं। टीएमसी नेता लवली खातून (Lovely Khatun) पर आरोप है कि उन्होंने जाली दस्तावेजों के जरिए भारत की नागरिकता हासिल की है। लवली खातून बंगाल के हरिशचंद्रपुर ब्लॉक 1 के रशीदाबाद पंचायत की प्रधान है।
लवली खातून पर आरोप है कि पंचायत प्रधान ने कथित तौर पर फर्जी प्रमाण पत्र बनवाकर कांग्रेस की ओर से चुनाव लड़ा था और टीएमसी के समर्थन से प्रधान पद पर जीत हासिल की है। इन आरोपों को लेकर कलकत्ता हाई कोर्ट ने उप विभागीय अधिकारी से रिपोर्ट मांगी है। लवली खातून के खिलाफ रेहाना सुल्ताना ने कलकत्ता हाई कोर्ट में याचिका दायर की है।
लवली खातून से हारी थीं रेहाना
सुल्ताना के वकील अमलान भादुड़ी ने कहा कि याचिका दायर करने वाली रेहाना सुल्ताना ने टीएमसी उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ा था, लेकिन वह लवली खातून से हार गई थीं, जिन्होंने कांग्रेस और वाम गठबंधन की उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ा था। खातून के चुनाव जीतने के एक या दो महीने के भीतर ही वह टीएमसी में शामिल हो गई थीं।
लवली खातून पर क्या हैं आरोप?
इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में वकी भादुड़ी ने कहा कि लवली खातून का असली नाम नासिया शेख है और वह कथित तौर पर एक बांग्लादेशी अप्रवासी है, जो बिना पासपोर्ट के अवैध रूप से भारत में घुसी थी। उन्होंने आगे आरोप लगाया कि 2015 में खातून के नाम पर आधार कार्ड जारी किया था, और 2018 में जन्म प्रमाण पत्र जारी किया गया।
बांग्लादेश से आया चालाक घुसपैठिया
भादुड़ी ने कहा है कि लवली खातून ने चुनाव के लिए अपनी पात्रता साबित करने के लिए अपने आधार कार्ड, वोटर कार्ड और यहां तक कि ओबीसी स्टेटस जैसे फर्जी दस्तावेज भी बनवाए हैं। हमें स्थानीय लोगों से यह भी पता चला कि खातून एक पड़ोसी गांव में गई थी। एक व्यक्ति से अपने पिता का नाम बताने के लिए कहा था। हर कोई जानता है कि उसके पिता का नाम शेख मुस्तफा नहीं बल्कि जमील बिस्वास है, यहां तक कि राष्ट्रीय जनसंख्या रजिस्टर में भी शेख मुस्तफा के परिवार में लवली का कोई जिक्र नहीं है।
वकील ने आगे सवाल उठाया कि खातून कैसे चुनाव लड़ सकती हैं, जबकि वह भारतीय नागरिक नहीं हैं। इस बीच लवली खातून ने द एक्सप्रेस द्वारा किए गए कॉल का जवाब नहीं दिया। यह घटना ऐसे समय में हुई है जब अवैध रूप से देश में प्रवेश करने वाले बांग्लादेशी नागरिकों के लिए जाली दस्तावेजों के आधार पर पासपोर्ट बनाने के आरोप में सात लोगों को गिरफ्तार किया गया है। पश्चिम बंगाल की अन्य खबरें पढ़ने के लिए इस लिंक पर क्लिक करें।