पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने मंगलवार को राज्य के उच्च शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव को कड़ी फटकार लगाई। उन्होंने सचिव को दार्जिलिंग हिल्स यूनिवर्सिटी के वाइस चांसलर की नियुक्ति की प्रक्रिया पर “अपडेट” देने के लिए कहा था। राज्यपाल ने ट्विटर पर कहा कि राज्य के उच्च शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव मनीष जैन को बुलाने पर यह कहकर मना कर दिया कि बड़े अधिकारियों ने नहीं जाने दिया। उनके मुताबिक उन्हें ऊपर के अधिकारियों से अनुमति लेने की जरूरत है।

राज्यपाल राज्य के विश्वविद्यालयों के कुलाधिपति भी होते हैं। उन्होंने बाद में उनको 24 दिसंबर को राजभवन में तलब किया है। धनखड़ ने ट्विटर पर कहा, “शिक्षा के मुद्दों को संभालने में @MamataOfficial के लिए खुद के प्रति कानून चौंकाने वाला है। प्रमुख सचिव उच्च शिक्षा विभाग मनीष जैन (IAS) ने कहा कि कुलपति की नियुक्ति के बारे में अपडेट करने के लिए मैंने उच्च अधिकारियों से अनुमति मांगी है, लेकिन मुझे आने की अनुमति नहीं है।”

धनखड़ ने 20 दिसंबर को राजेंद्र प्रसाद ढकाल को नई दार्जिलिंग हिल्स यूनिवर्सिटी का वीसी नियुक्त किया था, इससे पहले कि राज्यपाल ढकाल को नियुक्त करने के अपने फैसले की घोषणा करते, शिक्षा मंत्री पार्थ चटर्जी ने वरीयता के क्रम में तीन नामों को ट्वीट किया और कहा कि सूची को औपचारिक मंजूरी के लिए राज्यपाल को भेजा गया है।

राज्यपाल ने कहा, “मनीष जैन बताएं कि उन्होंने आदेश की अवहेलना क्यों की। उन्हें किसने कहा कि वह अनुमति मांगें। उन्हें उच्च अधिकारियों से किस प्रकार की अनुमति चाहिए थी। वह कौन लोग हैं, जिनसे उनको अनुमति चाहिए। कानून के शासन में अनुकरण करने योग्य निर्णय होने चाहिए।”