पश्चिम बंगाल में दो लोगों को एक रेलवे अधिकारी को धमकी देने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। इनमें से एक शख्स ने खुद को TMC सांसद अभिषेक बनर्जी का पर्सनल सेक्रेटरी बताया। ईस्टर्न रेलवे की ओर से इस मामले में शिकायत दर्ज कराने के बाद आरोपियों को गिरफ्तार किया गया।

पूर्व रेलवे के महाप्रबंधक (GM) को धोखा देने और धमकी देने के आरोप में दो लोगों को गिरफ्तार किया गया है। एक आरोपी ने खुद को तृणमूल कांग्रेस सांसद अभिषेक बनर्जी का निजी सचिव बताया। पुलिस अधिकारियों ने कहा कि पूर्वी रेलवे की ओर से कोलकाता पुलिस में शिकायत दर्ज कराई गई थी।

रेलवे टेंडर हासिल करने के लिए GM को भेजा ईमेल

पुलिस ने एक बयान में कहा, “डिटेक्टिव डिपार्टमेंट ने जांच का जिम्मा लिया और दावा किया कि इस मामले में दो आरोपियों को पहले ही गिरफ्तार किया जा चुका है।” पुलिस के अनुसार, आरोपी बिवाश सरकार बंगाल में रामपुरहाट और स्वदिनपुर को जोड़ने वाले मार्ग के लिए रेलवे टेंडर हासिल करने के इरादे से ईमेल के माध्यम से महाप्रबंधक (GM) के पास पहुंचा।

पुलिस ने कहा, “पूर्वी रेलवे को एक बिश्वनाथ सरकार की ईमेल आईडी से एक ईमेल मिला था जिसमें उसने खुद को अभिषेक बनर्जी के दूसरे निजी सचिव के रूप में प्रस्तुत किया और 5,87,82,203 रुपये की राशि तुरंत जारी करने की मांग की।” पुलिस ने यह भी बताया कि उसी व्यक्ति ने बाद में अपने मोबाइल फोन से पूर्व रेलवे के महाप्रबंधक के कार्यालय में फोन किया और अधिकारियों को गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दी और रंगदारी की मांग की।”

GM को धमकी देने वाले दोनों आरोपी गिरफ्तार

जांच के बाद आईपीसी और आईटी अधिनियम की प्रासंगिक धाराओं के तहत बिवाश, बिश्वनाथ और अन्य के खिलाफ मामला दर्ज किया गया। एक आरोपी बिवाश सरकार को गिरफ्तार कर लिया गया है और उसका मोबाइल फोन जब्त कर लिया गया है। पुलिस के मुताबिक पूछताछ में उसने आरोप कबूल कर लिया। उसे कोलकाता में मुख्य मेट्रोपोलिटन मजिस्ट्रेट की अदालत में पेश किया गया और 19 जून तक पुलिस हिरासत में भेज दिया गया। एक अन्य आरोपी बिश्वनाथ सरकार को शनिवार रात करीब 9 बजे उसके आवास से गिरफ्तार किया गया।

बालासोर हादसे के बाद अभिषेक बनर्जी ने की थी रेल मंत्री के इस्तीफे की मांग

इससे पहले, ओडिशा के बालासोर में हुए भीषण ट्रेन हादसे को लेकर टीएमसी ने रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव के इस्तीफे की मांग की थी। टीएमसी के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी ने आरोप लगाया था कि केंद्र सरकार इस तरह के ट्रेन हादसों को रोकने के लिए टक्कर रोधी उपकरण लगाने के बजाए विपक्षी नेताओं की जासूसी करने के लिए सॉफ्टवेयर पर करोड़ों रुपये खर्च कर रही है। टीएमसी नेता ने कहा था, “केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार जनता को गुमराह करके राजनीतिक समर्थन हासिल करने के लिए वंदे भारत और नए बने स्टेशनों की ढींगें हांक रही है लेकिन सुरक्षा उपायों के लिए कुछ नहीं कर रही।”