उत्तर प्रदेश में बिजली के दामों में बढ़ोत्तरी की गई है। गांव शहर और औद्योगिक इलाके में बिजली की दरें बढ़ाने के बाद योगी सरकार पर सवाल उठ रहे हैं। दम बढ़ने को लेकर सूबे में सियासत भी शुरू हो गई है। इस कदम को लेकर बसपा प्रमुख मायावती ने योगी सरकार पर निशाना साधा है। इस पर योगी सरकार में ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा ने मायावती पर पलटवार किया है।

श्रीकांत शर्मा ने इसे समाजवादी पार्टी और बहुजन समाजवादी पार्टी का पाप बताया है। श्रीकांत शर्मा ने ट्वीट करते हुए पिछली सरकारों पर निशाना साधा है। श्रीकांत शर्मा ने लिखा है, ”बहन मायावती जी ये सपा-बसपा के पाप रहे कि भ्रष्टाचार बढ़ता गया और बिजली कंपनियां भारी घाटे में चली गईं। सपा-बसपा के कार्यकाल में सिर्फ दरें बढ़ती थीं। भाजपा के कार्यकाल में दरें कम और बिजली आपूर्ति के घंटे ज्यादा बढ़े हैं। सरकार ने बढ़ती दरों से गरीब को मुक्त रखा है। पूर्व सरकारों की आर्थिक अनियमितताओं के चलते मजबूरीवश कुछ श्रेणियों की बिजली दरों में आंशिक बढ़ोतरी करनी पड़ी है।”

इससे पहले मायावती ने ट्वीट करते हुए लिखा था। “उत्तर प्रदेश बीजेपी सरकार द्वारा बिजली की दरों को बढ़ाने को मंजूरी देना पूरी तरह से जनविरोधी फैसला है। इससे प्रदेश की करोड़ों खासकर मेहनतकश जनता पर महंगाई का और ज्यादा बोझ बढे़गा व उनका जीवन और भी अधिक त्रस्त व कष्टदायी होगा। सरकार इसपर तुरन्त पुनर्विचार करे तो यह बेहतर होगा।”

बता दें कि  राज्य विद्युत नियामक आयोग ने बिजली के नए टैरिफ में घरेलू, व्यावसायिक और औद्योगिक सभी तरह के उपभोक्ताओं की दरें बढ़ा दी है। बिजली के बढ़े दामों की मार सबसे ज्यादा घरेलू उपभोक्ताओं को पड़ी है।  शहरी क्षेत्र में जहां 15 फीसदी की बढ़ोतरी की गई है, वहीं औद्योगिक क्षेत्र में 10 फीसदी का इजाफा किया गया है। यही नहीं सरकार ने ग्रामीण इलाकों में फिक्स चार्ज 400 रुपये से बढ़ाकर 500 रुपये कर दिए हैं।