नेपाल के प्रधानमंत्री शेर बहादुर देउबा अपनी पत्नी के साथ दो दिवसीय भारत दौरे पर आए थे। इस दौरान उन्होंने दिल्ली के हैदराबाद हाउस में भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से भी मुलाकात की। इस दौरान भारत और नेपाल के बीच 8 साल बाद फिर से ट्रेन की शुरुआत हुई। इसके बाद नेपाल के प्रधानमंत्री अपनी पत्नी के साथ बनारस पहुंचे, जहां पर उन्होंने काल भैरव मंदिर और काशी विश्वनाथ मंदिर में पूजा अर्चना की। नेपाल के प्रधानमंत्री की पत्नी आरजू राना देउबा ने एक बयान दे दिया जिसके कारण सोशल मीडिया पर लोग तरह-तरह की प्रतिक्रिया देने लगे।

मंदिर दर्शन के बाद आरजू राना देउबा ने समाचार एजेंसी एएनआई से बात करते हुए कहा कि, “मैं पहली बार 1990 में भारत आई थी, फिर 2017 में और अब 5 साल बाद आईं हूं। मैंने बहुत बदलाव देखा है, मुझे ऐसा लगता है जैसे मैं किसी दूसरे शहर में हूं, खासकर काशी विश्वनाथ क्षेत्र में। जब मैं पहले आई थी, तब पतली गलियाँ थीं और हम मंदिर (काशी विश्वनाथ) तक पहुँचने के लिए एक लंबा रास्ता तय करते थे। अब इसे बहुत अच्छी तरह से बनाया गया है। सब कुछ अच्छा लग रहा है, वहां से पूरी गंगा दिखाई दे रही थी, सब साफ सुथरा है।”

नेपाल के प्रधानमंत्री की पत्नी के बयान पर सोशल मीडिया पर लोग तरह-तरह की प्रतिक्रिया व्यक्त कर रहे हैं। पंकज अग्रवाल नाम के शख्स ने ट्वीट करते हुए लिखा कि, ” आरएसएस-बीजेपी आईटी सेल की मेंबर हैं ये, अब बीजेपी इनसे प्रचार करवा रही है?” अमित राय नाम के व्यक्ति ने सरकार की तारीफ करते हुए लिखा कि, “मैम सबको बदलाव दिख रहा है जबकि कुछ लोग और बुद्धिजीवियों को नहीं दिख रहा है।”

श्रेयांश नाम के ट्विटर यूजर ने लिखा कि, “सुनलो वामपंथियों, काशी विश्वनाथ धाम की तारीफ अब वैश्विक स्तर पर हो रही है।” वही निशांत नाम के ट्विटर यूजर ने लिखा कि, “सबको विकास दिख रहा है, बस विपक्ष ने आंख बंद कर ली है।”

आरजू राना देउबा ने यह भी कहा कि, “सांस्कृतिक रूप से भारत और नेपाल एक हैं। नेपाल में काशी को एक ऐसी जगह के रूप में देखा जाता है, जहां अगर आप अपनी अंतिम सांस लेते हैं, तो आप स्वर्ग पहुंच जाएंगे। मेरे पति गर्मजोशी से भरे स्वागत से बहुत प्रभावित हुए, हम बहुत प्रभावित हुए हैं।”