Cash For Query Case: संसदीय एथिक्स कमेटी ने टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा से जुड़े ‘कैश फार क्वेरी’ मामले में लोकसभा में अपनी रिपोर्ट पेश कर दी है। यह रिपोर्ट पेश होते ही विपक्षी सांसदों ने संसद में हंगामा शुरू कर दिया, जिस वजह से लोकसभा को दोपहर 2 बजे तक स्थगित करना पड़ा। सूत्रों से प्राप्त जानकारी के मुताबिक, एथिक्स कमेटी की रिपोर्ट में महुआ मोइत्रा की संसद सदस्यता रद्द करने की सिफारिश की गई थी। दो बजे सदन शुरू होने पर करीब घंटे भर चर्चा के बाद सदन ने टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा की सदस्यता खत्म करने की सिफारिश को ध्वनि मत से स्वीकार कर लिया। इसके बाद लोकसभा अध्यक्ष ने इसका ऐलान कर दिया।

कार्रवाई पर भड़कीं महुआ, बोलीं- आरोप लगाने वाले बिजनेसमैन को क्यों नहीं बुलाया गया

विपक्षी सदस्यों ने टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा के निष्कासन के प्रस्ताव को लोकसभा में स्वीकार किए जाने के बाद वाक-आउट कर दिया। सदन के बाहर महुआ मोइत्रा ने मीडिया के सामने कहा कि सभी आरोप गलत हैं। उन्होंने कहा कि उन्होंने अडानी का मुद्दा उठाया था। उन्होंने पूछा कि उनके खिलाफ आरोप लगाने वाले बिजनेसमैन को क्यों नहीं बुलाया गया। मोइत्रा ने आरोप लगाया कि यह कार्रवाई सदन का ध्यान भटकाने के लिए की गई है।

बीजेपी सांसद विजय सोनकर ने पेश की रिपोर्ट

लोकसभा में बीजेपी के सांसद विजय सोनकर ने तृणमूल सांसद महुआ मोइत्रा पर एथिक्स कमेटी की रिपोर्ट पेश की। लोकसभा के एजेंडे में यह रिपोर्ट पहले चार दिसंबर की लिस्ट में थी, लेकिन इसे पेश नहीं किया गया। पिछले हफ्ते सरकार की ओर से बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में टीएमसी नेताओं ने मोइत्रा को सदन से निष्कासित करने का कोई भी निर्णय लेने से पहले रिपोर्ट पर चर्चा की मांग की।

विपक्षी सदस्यों ने एथिक्स कमेटी की जांच को “फिक्स्ड मैच” कहा था

इस बीच बीएसपी सांसद दानिश अली ने कहा है कि अगर रिपोर्ट पेश की जाती है, तो वह पूर्ण चर्चा पर जोर देंगे, क्योंकि मसौदा ढाई मिनट में अपनाया गया था। इससे पहले एथिक्स कमेटी के छह सदस्यों ने रिपोर्ट के पक्ष में अपना वोट दिया, विपक्ष के चार सदस्यों ने इस पर असहमति जताते हुए विरोध में वोट दिया। उन्होंने उसे “फिक्स्ड मैच” कहा।

दरअसल सुप्रीम कोर्ट के वकील जय अनंत देहाद्रई ने सीबीआई में शिकायत करके टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा के खिलाफ संसद में सवाल पूछने के लिए पैसे लेने का गंभीर आरोप लगाया था। इस आरोप के बाद बीजेपी सांसद निशिकांत दुबे ने मामले की जांच कराने की मांग की। उन्होंने कहा कि वकील जय अनंत देहाद्रई ने यह आरोप लगाया है कि महुआ मोइत्रा ने अडानी ग्रुप और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधने के लिए संसद की अपनी लॉग-इन आईडी उद्योगपति दर्शन हीरानंदानी दे दिया था।

महुआ मोइत्रा ने सवाल पूछने के लिए पैसे लेने के आरोपों से इनकार किया, हालांकि उन्होंने उद्योगपति दर्शन हीरानंदानी को अपना संसदीय लॉग-इन आईडी देने की बात स्वीकार की।